'स्पेशल 26' देख बनाया गैंग, सेना में भर्ती का झांसा दे सैकड़ों का ठगा

स्पेशल 26 मूवी की तर्ज पर आर्मी में भर्ती कराने के नाम पर धोखाधड़ी करने वाले रैकेट का दिल्ली क्राइम ब्रांच ने पर्दाफाश किया है. ये गैंग अब तक सैंकड़ों युवाओं से ठगी कर चुका है.

Advertisement
पुलिस ग‍िरफ्त में आरोपी पुलिस ग‍िरफ्त में आरोपी

राहुल झारिया

  • नई दिल्ली,
  • 15 अप्रैल 2019,
  • अपडेटेड 7:38 PM IST

स्पेशल 26 फिल्म देखकर आंध्र प्रदेश के रहने वाले श्रीनिवास राव को एक आइडिया आया. उसने आर्मी में भर्ती कराने के नाम पर भोले-भाले बेरोजगार युवाओं को ठगना शुरू कर दिया. असल में श्रीनिवास राव ने 10 से ज्यादा बार आर्मी में भर्ती होने की कोशिश की, लेकिन कामयाब नहीं हो पाया. इसके बाद उसने अपने साथियो के साथ मिलकर ये फर्जीवाड़ा करना शुरू कर दिया.

Advertisement

इस गैंग के बारे में 13 अप्रैल को क्राइम ब्रांच के पास एक शख्स ने शिकायत दी कि कुछ लोगों ने उससे आर्मी में भर्ती कराने के लिए पैसे लिए हैं और अब उनसे बात तक नहीं कर रहे हैं. बात आर्मी से जुड़ी थी इसलिए क्राइम ब्रांच ने एक एफआईआर दर्ज कर जांच शुरू की.

जांच में पता चला कि एक गैंग बेरोजगार युवाओं को टारगेट कर रहा है. क्राइम ब्रांच को खबर मिली कि 3 आरोपी महिपालपुर में किसी कस्टमर को आर्मी का फेक एडमिट कार्ड देने आ रहे हैं. तभी उन्हें  मौके पर पहुंचकर पकड़ा गया और उनके पास से आर्मी के 15 जाली एडमिट कार्ड बरामद किए गए. 

अभी तक की पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि आर्मी में भर्ती कराने के नाम पर करीब 100 से ज्यादा युवाओं को ठग चुके हैं और हर एक शख्स से एक से डेढ़ लाख रुपये ले लिए हैं.

Advertisement

क्राइम ब्रांच ने जिन तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है उनमें बालकृष्णन, महेंद्रगढ़ हरियाणा का रहने वाला है. वहीं, श्रीनिवास राव और एक अन्य आरोपी कुटेप्ली वेंकेटरा राव आंध्र प्रदेश के रहने वाले हैं.

बालकृष्णन महेंद्रगढ़ में इंदिरा गांधी कोचिंग इंस्टिट्यूट में कोचिंग देता था और वहां स्टूडेंट्स को आर्मी में भर्ती कराने का वादा कर उनसे पैसे ऐंठा करता था और इसके बाद उसके बाकी दो साथियों का काम शुरू होता था.

बालकृष्णन लड़कों को उड़ीसा में भेजा करता था और इनका दूसरा साथी श्रीनिवास राव खुद को आर्मी अफसर बताते हुए इन लड़कों का मेडिकल टेस्ट कराता था. श्रीनिवास राव खुद को आर्मी का अफसर दिखाने के लिए आर्मी का ट्रैक सूट पहनकर उड़ीसा में ग्राउंड में टेस्ट लेता था, तो वही इनका तीसरा साथी खुद को आर्मी का डॉक्टर बताता था और कलर ब्लाइंडनेस का टेस्ट करके लड़कों का भरोसा जीतता था.

जांच में पता चला है कि अभी तक दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान के लड़कों को टारगेट किया करते थे और 100 से ज्यादा लड़कों को ठगी का शिकार बना चुके हैं. इनके पास से कई मोबाइल फोन बरामद किए हैं,  जिनका इस्तेमाल ये लड़कों को उड़ीसा बुलाने के लिए करते थे.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement