Crime in India: साल 2018 में दर्ज हुए 50 लाख से ज्यादा केस, 1.3% की वृद्धि

NCRB के अनुसार साल 2018 में कुल मिलाकर देश में 50.74 लाख अपराध दर्ज किए गए. जिनमें भारतीय दंड संहिता यानी IPC के तहत 31.32 और स्पल लोकल लॉज (SSL) के तहत 19.41 लाख मामले दर्ज हैं.

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वर्ष 2018 में पिछले साल की तुलना में अधिक आपराधिक मामले दर्ज हुए (सांकेतिक चित्र) वर्ष 2018 में पिछले साल की तुलना में अधिक आपराधिक मामले दर्ज हुए (सांकेतिक चित्र)

aajtak.in / परवेज़ सागर

  • नई दिल्ली,
  • 09 जनवरी 2020,
  • अपडेटेड 5:00 PM IST

  • 2018 में दर्ज हुए 50 लाख से ज्यादा मामले
  • आईपीसी के तहत 31 लाख से ज्यादा केस
  • एसएसएल के मामले भी 19 लाख से ज्यादा
  • NCRB ने जारी किए 2018 के आंकड़े

NCRB या राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो ने वर्ष 2018 के आपराधिक आंकड़े जारी कर दिए हैं. इससे संबंधित रिपोर्ट को 'भारत में अपराध 2018' के नाम से जारी किया गया है. आंकड़ों के अनुसार साल 2018 में कुल मिलाकर देश में 50.74 लाख अपराध दर्ज किए गए. जिनमें भारतीय दंड संहिता यानी IPC के तहत 31.32 और स्पल लोकल लॉज (SSL) के तहत 19.41 लाख मामले दर्ज हैं.

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अगर वर्ष 2018 के आपराधिक मामलों के आंकड़ों की तुलना साल 2017 के आंकड़ों से की जाए तो बीते साल इसमें 1.3% की वृद्धि दर्ज की गई है. हालांकि प्रति लाख क्राइम दर 2017 के 388.6 फीसदी से घटकर 2018 में 383.5% हो गई.

राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) की रिपोर्ट 2018 के अनुसार देश भर में अपहरण के 1.05 लाख मामले सामने आए. जबकि 2017 में यह आंकरड़ा 95,893 था. कहा जाए तो साल 2017 की तुलना में वर्ष 2018 में इस तरह के मामलों में 10.3% की वृद्धि हुई है.

NCRB यानी राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो की रिपोर्ट 2018 में दर्शाए गए बिंदुओं के मुताबिक इंसान को शारीरिक रूप से प्रभावित करने वाले अपराधों के 10.40 लाख मामले 2018 में सामने आए हैं.

भारत में अपराध 2018 पर आई एनसीआरबी की रिपोर्ट के अस्वीकरण अनुभाग में कहा गया है कि अभी पश्चिम बंगाल, अरुणाचल, मेघालय, सिक्किम और कोलकाता शहर से लंबित आंकड़ों पर स्पष्टीकरण आना बाकी है. इसलिए इन राज्यों और शहरों के आंकड़ों को अनंतिम माना जा सकता है.

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