केरल के कासरगोड जिले में एक नाबालिग लड़के के साथ कुकर्म की दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है. यहां 16 वर्षीय लड़के के साथ पिछले दो साल से अधिक समय तक 14 अलग-अलग लोगों द्वारा यौन उत्पीड़न किया गया. इस मामले में पुलिस ने अब तक 9 लोगों को गिरफ्तार किया है. इनमें एक सहायक शिक्षा अधिकारी और एक रेलवे पुलिस बल का सदस्य भी शामिल है.
पुलिस के मुताबिक, इस सनसनीखेज मामले का खुलासा तब हुआ, जब पीड़ित बच्चे की मां को अपने बेटे की गतिविधियों पर संदेह हुआ. उन्होंने चाइल्डलाइन को इसकी सूचना दी. वहां से पुलिस से संपर्क किया गया. इसके बाद पुलिस ने पीड़ित लड़के का बयान दर्ज किया, जिसके आधार पर यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) अधिनियम, 2012 के तहत 14 अलग-अलग मामले दर्ज किए.
कासरगोड पुलिस ने इस मामले की गंभीरता को देखते हुए कार्रवाई तेज कर दी. इस दौरान नौ आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया. हैरानी की बात ये है कि इन आरोपियों में एक सहायक शिक्षा अधिकारी और एक सेवानिवृत पुलिसकर्मी शामिल हैं. इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग की यूथ लीग का एक कार्यकर्ता भी इस वारदात में शामिल है, जो कि अभी फरार बताया जा रहा है.
एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि सभी आरोपियों की उम्र 25 से 51 साल के बीच है. कासरगोड में हुई 8 घटनाओं की जांच के लिए एक विशेष जांच टीम गठित की गई है. इसमें एक डीएसपी और चार इंस्पेक्टर शामिल हैं. इसके साथ ही 6 मामले कन्नूर, कोझिकोड और एर्नाकुलम जिलों में स्थानांतरित कर दिए गए हैं, जहां कथित तौर पर यौन उत्पीड़न की घटनाएं हुई हैं.
यह पूरा मामला एक मोबाइल डेटिंग ऐप से शुरू हुआ, जो LGBTQ समुदाय के बीच लोकप्रिय है. पीड़ित लड़के ने इस ऐप को डाउनलोड किया और इसके जरिए वो 14 अलग-अलग लोगों के संपर्क में आया. इन लोगों ने उसका कासरगोड, कन्नूर, कोझिकोड और एर्नाकुलम जिलों में विभिन्न स्थानों पर यौन उत्पीड़न किया. पुलिस ने बताया कि सभी 14 आरोपी एक-दूसरे को नहीं जानते थे.
इनका आपस में कोई संबंध नहीं था. इस मामले के खुलासे के पीछे लड़के की मां की भूमिका बहुत अहम है. उन्होंने अपने घर पर एक अजनबी को देखा, जो उन्हें देखकर भाग गया. मां ने अपने बेटे से सख्ती से पूछताछ की, जिसके बाद उसने अपनी आपबीती सुनाई. मां ने तुरंत चाइल्डलाइन को इसकी सूचना दी, जिसने पुलिस को अलर्ट कर दिया. इसके बाद पूरे मामले का खुलासा हुआ.
इस मामले ने डेटिंग ऐप्स के दुरुपयोग को लेकर गंभीर सवाल खड़े किए हैं. पुलिस का कहना है कि नाबालिग जिस ऐप का इस्तेमाल कर रहा था, वो LGBTQ समुदाय के बीच मशहूर है. इस ऐप का इस्तेमाल कर लड़के को लुभाया गया और उसका शोषण किया गया. यह मामला न केवल बच्चों की सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ाता है, बल्कि ऐप की जवाबदेही पर भी सवाल उठाता है.
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