ISIS से बचे तो समंदर में डूबे, इतावली फौजियों से बचाई जान

भूमध्य सागर में पानी का ये जहाज जरूरत से ज्यादा वजन के साथ जैसे-जैसे आगे बढ़ने लगा समुद्री थपेड़ों ने इसे डराना शुरू कर दिया. बीच समंदर में अब जहाज डोले खाने लगा. बचाव का कोई रास्ता नहीं था.

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अमित कुमार दुबे / शम्स ताहिर खान

  • नई दिल्ली,
  • 28 मई 2016,
  • अपडेटेड 2:49 AM IST

लीबिया में रहने वाले आम लोग बेहद परेशान हैं. एक तो पुरानी हुकूमत ने जुल्म ढहाया और अब बगदादी के आईएसआईएस का आतंक भी इनके घर तक घुस आया. लिहाजा जब जान पर ही बन आई तो देश छोड़ने के अलावा कोई रास्ता सूझा ही नहीं. जिसके बाद मौत को मात देने के लिए जितने लोग इस एक जहाज में सवार हो सकते थे हो गए और नए ठिकाने की तलाश में निकल पड़े.

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जहाज पर ज्यादा वजह होने से संतुलन बिगड़ा
भूमध्य सागर में पानी का ये जहाज जरूरत से ज्यादा वजन के साथ जैसे-जैसे आगे बढ़ने लगा समुद्री थपेड़ों ने इसे डराना शुरू कर दिया. बीच समंदर में अब जहाज डोले खाने लगा. बचाव का कोई रास्ता नहीं था. जहाज में कोई सेफ्टी यंत्र भी नहीं था, हवा और लहरों के थपेड़े इसे कभी भी पलट सकते थे. एक साथ सैकड़ों लोगों की जिंदगी खतरे में थी. देखते ही देखते जहाज पलट गया. लोग अब पानी में थे. लोग बाहर निकलने के लिए पानी हाथ-पैर मारते दिखे.

इटली की नेवी ने लोगों को बचाया
इटली की नेवी उसी समंदर में अपनी सीमा के अंदर गश्त पर थी, और गश्त के दौरान ही नेवी के किसी अफसर ने दूरबीन से इस जहाज को देख लिया था. बस उसी वक्त इटली नेवी एलर्ट हो गई, वो समझ चुकी थी कि जहाज में रिफ्यूजी सवार हैं. लिहाजा फौरन ही रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू हो गया, फौरन लोगों को छोटे-छोटे बोट और सेफ्टी बेल्ट की मदद से पानी से बाहर निकाला गया. लगभग पांच सौ से ज्यादा लोगों की जान बच गई. हालांकि कुछ का पता नहीं चला. जहाज पर कितने लोग ये आंकड़ा अभी तक साफ नहीं हो पाया है.

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गौरतलब है कि भूमध्य सागर में ऐसी छोटी-बड़ी अनगिनत जहाज और नौकाएं डूब गईं जिनमें सैकड़ों लोगों की मौत हो गई. शायद यही वजह है कि इसलिए भूमध्य सागर को आजकल प्रवासियों का कब्रिस्तान भी कहा जाता है.

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