Eucalyptus Farming: खेत में सिर्फ लगा दें ये पेड़, 10 साल बाद होगी लाखों की कमाई! जान लें पूरी डिटेल्स

Eucalyptus Tree: किसानों को ज्यादा लाभ नहीं होने के पीछे की बड़ी वजह उनके पारंपरिक तरीके से खेती करना भी है. लेकिन यदि किसान कई अन्य फसलों को उगाएं तो उनके लिए फायदेमंद रह सकता है. इसी तरह कई तरह के पेड़ होते हैं, जिन्हें खेत में लगाने से कुछ सालों बाद तगड़ा मुनाफा कमाया जा सकता है.

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aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 13 अप्रैल 2022,
  • अपडेटेड 7:31 PM IST
  • कुछ ही सालों में होगा तगड़ा मुनाफा
  • यूपी समेत कई राज्यों में लगाया जाता है पेड़

Eucalyptus Tree Farming Profit: भारत को एक कृषि प्रधान देश माना जाता है. यहां बड़ी आबादी किसानी खेती पर निर्भर है, लेकिन इसके बावजूद भी उनकी आर्थिक हालत ज्यादा बेहतर नहीं है. यही वजह है कि ऐसे किसानों की आर्थिक स्थिति को सुधारने के लिए केंद्र सरकार प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना (PM Kisan Yojana) जैसी विभिन्न योजनाओं को चलाती है, जिसके जरिए से करोड़ों किसानों को फायदा पहुंचता है. 

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हालांकि, किसानों को ज्यादा लाभ नहीं होने के पीछे की बड़ी वजह उनके पारंपरिक तरीके से खेती करना भी है. लेकिन यदि किसान कई अन्य फसलों को उगाएं तो उनके लिए फायदेमंद रह सकता है. इसी तरह कई तरह के पेड़ होते हैं, जिन्हें खेत में लगाने से कुछ सालों बाद तगड़ा मुनाफा कमाया जा सकता है. इन्हीं पेड़ों में से एक यूकेलिप्टस है. यूं तो यह ऑस्ट्रेलियाई मूल का पेड़ है, लेकिन भारत में भी इसकी खेती बड़े स्तर पर की जाती है. इसके अन्य नामों के बारे में बात करें तो इसे गम, सफेदा, नीलगिरि आदि के नाम से भी जाना जाता है. इन पेड़ों का इस्तेमाल हार्ड बोर्ड, लुगदी, फर्जीचर, पेटियां आदि को बनाने के लिए किया जाता है. 

देश के किन राज्यों में होती है खेती?
भारत में कई राज्य हैं, जहां पर यूकेलिप्टस के पेड़ बड़े स्तर पर लगाए जाते हैं. मध्य प्रदेश, बिहार, हरियाणा, आंध्र प्रदेश, उत्तर प्रदेश, पंजाब आदि जैसे राज्यों के किसान सफेदा पेड़ को खूब लगाते हैं. इसके जरिए से वे कुछ ही सालों में बंपर मुनाफा भी कमाते हैं. 

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लंबी ऊंचाई वाले होते हैं ये पेड़
यूकेलिप्टस पेड़ों की ऊंचाई के बारे में बात करें तो अन्य पेड़ों की तुलना में ये काफी लंबे होते हैं. आमतौर पर एक पेड़ की ऊंचाई 40 से 80 मीटर तक हो सकती है. जब भी इन पेड़ों को लगाएं तो एक-दूसरे के बीच डेढ़ मीटर की दूरी रखें. इसत तरह से आप एक एकड़ में तकरीबन 1500 से अधिक पेड़ लगा सकेंगे. 

कब होती है सिंचाई की जरूरत?
यूकेलिप्टस पेड़ लगाने के बाद सिंचाई की बात करें तो खेत में रोपाई के तुरंत बाद सिंचाई की जरूरत हो जाती है. वहीं, मॉनसून के सीजन में सिंचाई की आवश्यकता नहीं होती है लेकिन अगर मॉनसून विफल रहता है या फिर ज्यादा बारिश नहीं होती है तो फिर जरूरत के हिसाब से सिंचाई जरूर करें. सिंचाई की आवश्यकता ज्यादातर गर्मी के मौसम में और कुछ हद तक सर्दी के मौसम में होती है. 

यूकेलिप्टस पेड़ लगाकर करें बंपर कमाई
जब भी कोई खेती करता है तो फिर उसकी नजर उससे होने वाले आय पर जरूर होती है. इसी तरह अगर आप यूकेलिप्टस की खेती कर रहे हैं तो आपको पौध लगाने के बाद 10 से 12 साल तक का इंतजार करना होगा. इसके बाद ये पेड़ पूरी तरह से तैयार हो जाते हैं. इन पेड़ की लकड़ी से मिलने वाली कीमत की बात करें तो मार्केट में इसकी कीमत 500 रुपये क्विंटल तक है. इस तरह इन पेड़ों के जरिए से लाखों रुपये की कमाई की जा सकती है.

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