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भारत का अपना देसी सर्जिकल रोबोट 'Mantra'... जानें कैसे करेगा काम? कौन-कौन सी बीमारियों का इलाज करेगा?

भारत में बने सर्जिकल रोबोटिक सिस्टम 'मंत्रा' को कोयंबटूर के एक निजी अस्पताल में इंस्टॉल कर दिया गया है. ये रोबोटिक सिस्टम पहले से ही कई अस्पतालों में इंस्टॉल है. खास बात ये है कि ये रोबोट पूरी तरह से देसी है. ये कई तरह की सर्जरी कर सकता है.

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मंत्रा रोबोटिक सिस्टम से कई सारी सर्जरी की जा सकतीं हैं. (फाइल फोटो- SSInnovation)
मंत्रा रोबोटिक सिस्टम से कई सारी सर्जरी की जा सकतीं हैं. (फाइल फोटो- SSInnovation)

क्या हो कि आप अस्पताल में भर्ती हों और आपका ऑपरेशन एक रोबोट करे? हो सकता है कि आप अभी भी इसे कल्पना ही समझें, लेकिन अब ऐसा होने लगा है. देश के कई अस्पतालों में ये रोबोटिक सिस्टम इंस्टॉल हो चुका है. खास बात ये है कि पूरी तरह से स्वदेशी रोबोट है. 

इस रोबोट का गुरुग्राम की एसएस इनोवेशन कंपनी ने तैयार किया है. इसका नाम 'मंत्रा' (Mantra) रखा गया है. कंपनी ने एक बयान जारी कर बताया है कि मंत्रा रोबोट को कोयंबटूर के एक निजी अस्पताल में इंस्टॉल किया गया है. ये रोबोट सिस्टम पहले ही कई अस्पतालों में इस्तेमाल हो रहा है, जिसमें दिल्ली का राजीव गांधी कैंसर संस्थान भी शामिल है.

ये कंपनी डॉक्टर सुधीर श्रीवास्तव की है, जो खुद एक कार्डियो थोरेसिक सर्जन हैं और रोबोट सर्जरी में माहिर हैं. डॉ. सुधीर श्रीवास्तव ने बताया कि इस रोबोटिक सिस्टम के जरिए हाई-टेक मेडिकल केयर तक आम लोगों की पहुंच आसान हो सकेगी.

पूरी तरह से देसी है रोबोट

- 'मंत्रा' रोबोटिक सिस्टम की खास बात है कि इसका हर हिस्सा पूरी तरह से भारत में निर्मित किया गया है. यानी कि ये पूरा रोबोटिक सिस्टम 'देसी' है.

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- इसमें कुल चार वर्किंग आर्म्स लगाए गए हैं. स्टेट वर्किंग आर्म में कैमरा फिट किया गया है. कैमरे की तस्वीरों को देखने के लिए LED स्क्रीन है.

- इस पूरे सिस्टम को ऑपरेट करने के लिए एक डॉक्टर की जरूरत होगी. ऑपरेटिंग सिस्टम में हैंड ब्रेक भी है, जिसके जरिए पूरा रोबोट कंट्रोल किया जाता है.

- इस सिस्टम के तीन हिस्से हैं. पहला है- सर्जन कमांड सेंटर, जहां से डॉक्टर इसे ऑपरेट करेगा. दूसरा है- पेशेंट साइड आर्म कार्ट्स, यानी रोबोट सर्जरी करेगा और तीसरा है- विजन कार्ट, जहां डॉक्टर पूरा ऑपरेशन देख सकेंगे.

कौन-कौन सी सर्जरी कर सकता है रोबोट?

- इस रोबोट का इस्तेमाल कई सारी सर्जरी करने में किया जा सकता है. कंपनी का दावा है कि राजीव गांधी कैंसर संस्थान में ये रोबोट 25 तरह की सर्जरी करता है. 

- इसके जरिए यूरोलॉजी कैंसर, गायनेकोलॉजिकल कैंसर, गेस्ट्रो-इंटेस्टाइनल कैंसर की सर्जरी की सकती है. इसके अलावा कार्डियो-थोरेसिक सर्जरी भी हो सकती है.

और क्या है इसमें खास?

- दावा है कि ये रोबोटिक सिस्टम सबसे सस्ता है. इसकी एक यूनिट की कीमत 4 से 5 करोड़ रुपये है. जबकि, ग्लोबल सर्जिकल रोबोटिक सिस्टम की औसत कीमत 15 से 17 करोड़ रुपये है.

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- इसके अलावा, एक खास बात ये भी है कि इस रोबोटिक सिस्टम से सर्जरी करने पर बड़े कट लगाने की जरूरत भी नहीं पड़ती, जिससे मरीज की तकलीफ कम होती है.

- इतना ही नहीं, ये भी दावा है कि रोबोट के जरिए सर्जरी के बाद मरीज को रिकवर होने में दो से तीन दिन का समय लगता है, जबकि नॉर्मल सर्जरी में काफी वक्त लग जाता है.

 

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