पंजाब में धान की कटाई शुरू होने के बाद से 15 सितंबर से अब तक पराली जलाने के 75 मामले सामने आए हैं. इन मामलों में प्रशासन ने कड़ी कार्रवाई करते हुए किसानों पर विभिन्न तरह के जुर्माने और कानूनी कार्रवाई की है.
27 एफआईआर और 17 रेड एंट्री
इन 75 मामलों में से 27 मामलों में भारतीय न्याय संहिता की धारा 223 के तहत एफआईआर दर्ज की गई है. यह धारा उन मामलों पर लागू होती है जब कोई व्यक्ति विधिपूर्वक जारी किए गए आदेशों की अवज्ञा करता है. इसके अलावा, 17 मामलों में किसानों की जमीन के रेवेन्यू रिकॉर्ड में रेड एंट्री की गई है, जिससे उनके भविष्य के कागजी रिकॉर्ड पर असर पड़ेगा.
32 मामलों में कुल 1.5 लाख का जुर्माना
किसानों पर 32 मामलों में कुल मिलाकर लगभग 1.5 लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है. प्रशासन का कहना है कि ये कदम राज्य में पराली जलाने की घटनाओं को रोकने और पर्यावरण सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए उठाए जा रहे हैं.
विशेष रूप से पराली जलाने के मामले अमृतसर जिले में सबसे अधिक सामने आए हैं, जो राज्य में इस समस्या की गंभीरता को दर्शाता है. अधिकारियों ने किसानों से अपील की है कि वे पराली जलाने से बचें और इसे पर्यावरण के अनुकूल तरीके से निस्तारित करें.