भयंकर आर्थिक संकट और महंगाई से जूझ रहे वेनेजुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो अपने अजीबोगरीब बयान के चलते चर्चा में हैं. निकोलस मादुरो ने अपने देश की महिलाओं से अपील की है कि वो कम से कम 6 बच्चे पैदा करें. इस अपील के पीछे राष्ट्रपति का मकसद वेनेजुएला की अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाना है.
दरअसल आर्थिक संकट की वजह से पिछले कुछ सालों में लाखों लोग देश छोड़ कर जा चुके हैं. इसलिए राष्ट्रपति निकोलस महिलाओं से देश को मजबूत बनाने की अपील कर रहे हैं.
निकोलस टेलीविजन पर प्रसारित एक कार्यक्रम में सरकार द्वारा चलाए जा रहे बर्थ प्रोग्राम का प्रचार कर रहे थे.
कार्यक्रम में निकोलस ने एक महिला को कहा, 'ऊपर वाला आपको देश के लिए छह लड़के और लड़कियां पैदा करने का आशीर्वाद दे.' सभी महिलाओं को छह बच्चे पैदा होने तक जन्म देते रहना चाहिए. अपनी मातृभूमि को बढ़ने दें.'
हालांकि राष्ट्रपति की इस टिप्पणी की हर तरफ आलोचना भी हो रही है. वेनेजुएला के लोगों और मानवाधिकार कार्यकर्ताओं का कहना है कि देश में पहले से ही भोजन, कपड़े और स्वास्थ्य देखभाल को लेकर संकट है.
युवाओं के अधिकारों की रक्षा करने वाले एक समूह सीईसीओडीएपी के संस्थापक ऑस्कर मिस्ले ने कहा, 'देश को मजबूत बनाने के लिए महिलाओं को छह बच्चे पैदा करने के लिए प्रेरित करना, देश के राष्ट्रपति की तरफ गैरजिम्मेदाराना रवैया है. जबकि यहां बच्चों की जिंदगी की कोई गारंटी भी नहीं है.'
संयुक्त राष्ट्र के अनुसार, देश के आर्थिक पतन और राजनीतिक विभाजन के कारण, 2015 के बाद से 45 लाख से अधिक लोगों को वेनेजुएला से पलायन करना पड़ा.
संयुक्त राष्ट्र के वर्ल्ड फूड प्रोगाम ने हाल ही में कहा था कि वेनेजुएला की आबादी का लगभग एक तिहाई अपने खान-पान के बुनियादी जरूरतों को पूरा करने में असमर्थ है.
दो बच्चों की मां मैग्डेलेना डी मचाडो का कहना है, 'हमसे छह बच्चे पैदा करने की बात कहना सरासर गलत है. हम हफ्ते में केवल दो दिन ही चिकन खा पाते हैं और जरूरत से कम ही खाना खरीद पाते हैं.'
डी मचाडो की तरह ही अन्य महिलाओं का भी सरकार से सवाल है कि देश की गिरती स्वास्थ्य सेवाओं के बीच महिलाएं से ज्यादा बच्चे पैदा करने की उम्मीद आखिर कैसे की जा सकती है.