दो बच्चों की मां उस समय दंग रह गई जब डॉक्टरों ने उसकी नाक से 35 सालों से चिपका हुआ टेप का एक गोला निकाला. 35 से इस महिला को सांस लेने में दिक्कत हो रही थी, लेकिन उन्हें इसका कारण पता नहीं था.
मिरर की रिपोर्ट के मुताबिक, कैंडेला रेबॉड नाम की इस महिला को याद नहीं कि यह टेप उसकी नाक में कैसे पहुंचा. उन्हें शक है कि अस्पताल में जब उनका जन्म हुआ था, तब नवजात शिशु के रूप में उन्हें सांस लेने में तकलीफ हो रही थी. इस दौरान उनके नाक में नली डाली गई थी. शायद उसी नली का टेप नाक के अंदर रह गया था.
अब तक एक नाक रहती थी बंद
कैंडेला ने अब तक का अपना पूरा जीवन आंशिक रूप से बंद नाक से सांस लेते हुए बिताया है और उन्हें इसके बारे में कभी पता भी नहीं चला. वह खुद एक हेल्थ इन्फ्लुएंसर हैं. आर्जेटिना की इस हेल्थ इंफ्लुएंसर ने कहा कि उन्हें बस इसकी आदत हो गई थी. उन्होंने कहा कि जहां तक मुझे याद है, मुझे नाक से सांस लेने में परेशानी होती रही है.
अधिकतर समय मुंह से लेनी पड़ती थी सांस
35 साल की कैंडेला ने कहा कि उन्हें दाहिनी तरफ, सांस लेते समय हवा मुश्किल से ही अंदर जाती थी. मुझे हमेशा शारीरिक गतिविधि करने में दिक्कत होती थी क्योंकि मुझे मुंह से सांस लेनी पड़ती थी और सोते समय भी यही होता था. मैंने इस पर कभी ज़्यादा ध्यान नहीं दिया, क्योंकि मुझे छोटी उम्र से ही इस तरह सांस लेने की आदत हो गई थी.
एक साल पहले शुरू हुई थी साइनसाइटिस की समस्या
कैंडेला ने बताया कि लगभग एक साल पहले उन्हें साइनसाइटिस की गंभीर समस्या हुई थी. उस समय, मैंने सीटी स्कैन नहीं करवाया, क्योंकि मेरे शहर में स्कैनर नहीं था और मैं यात्रा नहीं करना चाहती थी. उन्होंने कहा कि फिर जब मेरे लक्षण ठीक हो गए, तो मैंने इसे छोड़ दियाच
एक महीने पहले ये लक्षण फिर से लौट आए और उनके दाहिने गाल में तेज दर्द होने लगा. उन्होंने कहा कि इस बार, मैंने ठोस कदम उठाने का फैसला किया, क्योंकि मैंने देखा कि यह बार-बार हो रहा था. बाहरी जांच के दौरान, डॉक्टर को लगा कि उन्हें कुछ ऐसा दिख रहा है जो पॉलीप हो सकता है.
स्कैन करने पर कुछ फंसे होने का संकेत मिला
डॉक्टरों ने फिर सीटी स्कैन का सुझाव दिया और इस बार मैंने करवा लिया. रिपोर्ट में लगभग 8x6 मिमी की आंशिक रूप से कैल्सीफाइड फोकल इमेज का जिक्र था, जो राइनोलिथ का संकेत देती थी, जो मूल रूप से एक कैप्सूलेटेड बाहरी वस्तु थी.
जब मैं स्कैन लेकर आई, तो डॉक्टर ने एंडोस्कोप से मेरी जांच की और रुकावट का पता लगाया. कैंडेला ने आगे कहा कि लगभग एक घंटे तक उसे निकालने की कोशिश करने के बाद, आखिरकार वे उसे फोरसेप्स की मदद से निकालने में कामयाब रहे. लेकिन वे दोनों इस बात को लेकर असमंजस में थे कि वह वस्तु क्या हो सकती है और वहां कैसे पहुंची.
कैंडेला ने कहा कि पहले तो हमें समझ नहीं आया कि वह क्या है, लेकिन जब मैंने उसे गौर से देखा, तो मुझे तुरंत एहसास हुआ कि वह चिपकने वाले टेप का एक टुकड़ा था जिसे मोड़कर लपेटा गया था.
महिला को नहीं पता नाक के अंदर कैसे पहुंचा टेप
कैंडेला ने कहा कि मैं बहुत हैरान थी. मुझे याद नहीं कि यह वहां कैसे पहुंचा और वहां कितने समय से था. मुझे लगता है कि यह मेरे बचपन से ही वहां रहा होगा, या जब मैं बच्ची थी, तब से ही. मेरी मां से बात करते हुए, उन्हें याद आया कि जब मैं 1990 में पैदा हुई थी, तो मुझे सांस लेने में तकलीफ हुई थी. तब मुझे नवजात शिशु इकाई में रखा गया था.
कैंडेला का अनुमान है कि उस समय उन्होंने नाक में एक नली डाली थी और उपकरण पर टेप लगा हुआ था. मुझे नहीं पता कि यह संभव है या नहीं, लेकिन यही एकमात्र तार्किक व्याख्या है जो हम सोच पाए हैं कि आखिर कैसे मेरी नाक के अंदर टेप फंसा? मेरा परिवार भी मेरी तरह ही हैरान है.
अब बेहतर ढंग से सांस ले पा रही हैं कैंडेला
कैंडेला ने कहा कि यह बदलाव अविश्वसनीय है. मुझे लगता है कि मैं हर दिन बेहतर सांस ले पा रही हूं. सूजन पूरी तरह से कम होने में थोड़ा और समय लगेगा, लेकिन फर्क अभी से साफ दिखाई देने लगा है. मैं अब भी हैरान हूं, लेकिन इस बात से बहुत राहत भी महसूस कर रही हूं कि आखिरकार इसका कारण पता चल गया और यह बिना किसी सर्जरी के ठीक हो गया.
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