राजस्थान के पहलू खान मॉब लिंचिंग मामले में सरकार को SIT रिपोर्ट सौंप दी गई है. डीजीपी ने विस्तृत अध्ययन के बाद ये रिपोर्ट सरकार को सौंपी है. वहीं अब लापरवाह पुलिस अधिकारियों की भूमिका की जांच विजिलेंस शाखा करेगी. विजिलेंस शाखा की रिपोर्ट के मुताबिक ही पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की जाएगी. वहीं अब रिपोर्ट के आधार पर सरकार हाईकोर्ट में अपील करेगी.
इससे पहले राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने पहलू खान मामले की जांच में खामियों के लिए वसुंधरा राजे सरकार को जिम्मेदार ठहराया था. साथ ही कहा था कि उनकी सरकार ने मामले की फिर से जांच के लिए एसआईटी गठित की. गहलोत ने कहा कि बीजेपी सरकार ने पहलू खान मामले में चार जांच अधिकारी बदले थे. इस दौरान गहलोत ने यह भी बताया कि हम हाल ही में भीड़ हिंसा के खिलाफ राजस्थान में एक कानून लाए हैं. राजस्थान ऐसा कानून लाने वाला मणिपुर के बाद दूसरा राज्य है.
सीएम गहलोत ने कहा था कि कांग्रेस सरकार ने संगीन मामलों की त्वरित प्रभावी जांच सुनिश्चित करने के लिए जघन्य मामला निगरानी यूनिट भी बनाने का निर्णय लिया है, जो अवर महानिदेशक (अपराध) की देखरेख में काम करेगी. उन्होंने कहा था कि अलवर की अदालत ने पहलू खान मामले के आरोपियों को संदेह का लाभ देते हुए बरी किया गया था.
गहलोत ने बताया कि पहलू खान की हत्या की सूचना एक अप्रैल 2017 को मिली थी, जबकि प्राथमिकी 16 घंटे बाद दर्ज की गई थी और शव की चिकित्सीय जांच चार दिन बाद की गई थी. आरोपियों की गिरफ्तारी में कोई मुस्तैदी नहीं दिखाई गई थी.
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