आकार के लिहाज से भले ही गोवा छोटा राज्य हो लेकिन यहां की कुछ सीटों पर होने वाले मुकाबलों पर पूरे देश की नजर रहेगी. एक नजर ऐसी ही कुछ सीटों पर जहां हाई-प्रोफाइल उम्मीदवारों की किस्मत दांव पर लगी है:
पणजी
गोवा की राजधानी पणजी में चुनावी टक्कर रक्षामंत्री मनोहर पर्रिकर के लिए नाक का सवाल है. पर्रिकर की इस घरेलू सीट पर बीजेपी का 1994 से कब्जा है लेकिन इस बार यहां मुकाबला चौतरफा है. पार्टी ने एक बार फिर पर्रिकर के नजदीकी माने जाने वाले सिद्धार्थ कुनकोलिअंकर पर दांव लगाया है. वहीं कांग्रेस यूनाइटेड गोवन पार्टी के बाबुष मोंसेरेट उर्फ अतानासियो मोंसेरेट को समर्थन दे रही है.
माना जा रहा है कि ये चुनाव मोंसेरेट के लिए अस्तित्व की लड़ाई है. बाबुष को कांग्रेस ने पर्रिकर के केंद्र में जाने के बाद हुए उप-चुनाव में कुनकोलिअंकर को जिताने के आरोप में पार्टी से बाहर किया था. आम आदमी पार्टी ने यहां से वाल्मिकी नाइक और सुभाष वेलिंगकर के गोवा सुरक्षा मंच ने पर्रिकर के पूर्व सहायक कृष्णराज सुकेरकर को टिकट दिया है.
कनकोलिम, दक्षिण गोवा
इस सीट से आम आदमी पार्टी के सीएम कैंडिडेट एल्विस गोम्स किस्मत आजमा रहे हैं. 53 साल के गोम्स पूर्व सिविल सेवा अधिकारी हैं. वो फिलहाल गोवा फुटबॉल फेडरेशन के अध्यक्ष भी हैं. कनकोलिम सीट पर फिलहाल बीजेपी के सुभाष नाइक का कब्जा है. इस सीट पर कुल 9 प्रत्याशी मैदान में हैं. कांग्रेस ने यहां से क्लिफेसियो डियास को टिकट दिया है. लेकिन पूर्व एमएलए जोएक्विम एलेमाओ की बगावत उनकी जीत को मुश्किल बना सकती है. कांग्रेस के ही एक और बागी नेता देवेंद्र देसाई को शिवसेना-जीएसएम-एमजीपी गठबंधन ने उम्मीदवार बनाया है. वहीं बीजेपी ने एक बार फिर सुभाष नाइक को मौका दिया है. हालांकि देसाई उनके लिए जीत की राह को कठिन बना सकते हैं.
मेनड्रेम, उत्तरी गोवा
मौजूदा मुख्यमंत्री लक्ष्मीकांत पार्सेकर मेनड्रेम से उम्मीदवार हैं. लेकिन स्थानीय लोगों में उनके खिलाफ गुस्सा है. यहां के कई वोटर मानते हैं कि पार्सेकर ने सीएम रहने के बावजूद स्थानीय युवाओं को रोजगार नहीं दिया. इसके विपरीत कांग्रेस उम्मीदवार दयानंद सोप्टे की छवि एक मिलनसार नेता की है. यहां से एमजीपी-जीएसएम-शिवसेना गठबंधन के उम्मीदवार श्रीधर मेंड्रेकर उनके वोट बैंक में सेंध लगा सकते हैं. आम आदमी पार्टी ने इस सीट पर देवेंद्र प्रभुदेसाई को उतारा है.
कुंबर्जुआ
पूर्व विधायक पांडुरंग मडकैकर के बीजेपी में शामिल होने के बाद कांग्रेस ने इस सीट पर फिएल्हो जेवियर को टिकट दिया है. हालांकि बीजेपी खेमे में पांडुरंग के खिलाफ असंतोष है. केंद्रीय मंत्री श्रीपद नाइकके बेटे सिद्धेश ने भी इस सीट पर दावेदारी जताई है.
कानकोना
बीजेपी ने इस बार कानकोना से राज्य के खेल मंत्री रमेश तवाडकर का टिकट काटा है. उनकी जगह पूर्व कांग्रेस नेता विजय खोत को उम्मीदवार बनाया गया है. नाराज तवाडकर आजाद उम्मीदवार के तौर यहां से चुनाव लड़ रहे हैं. उन्हें आम आदमी पार्टी के संदेश तेलेकर टक्कर दे रहे हैं.
सुरभि गुप्ता