उन्होंने बताया कि पुलवामा की घटना के बाद हमने सिक्युरिटी ड्रिल्स को बेहतर किया है. हमने अपनी टैक्टिस भी बदली है. प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान सीआरपीएफ डीजी ने कहा कि मैं ये बात नहीं मान सकता कि ऐसी घटना दोबारा नहीं होगी, लेकिन यह समझना होगा कि दुश्मन हमारे अंदर घुसेगा तो हम उसके खिलाफ बेहतर तकनीक के साथ ठोस कार्रवाई करेंगे.
उन्होंने कहा कि जिसने ऑपरेशंस किए हैं, वे गारंटी नहीं दे सकते की दुश्मन कुछ न कर पाएं, लेकिन हम यह गारंटी दे सकते हैं हमारी सुरक्षा में किसी ने भेद किया तो वो बच कर नहीं जा पाएगा. यह सुरक्षा केवल एक एजेंसी की नहीं है. इसमें जम्मू-कश्मीर पुलिस, एनआईए सहित कई एजेंसियां लगी रहती हैं. डीजी सीआरपीएफ ने कहा कि साइबर वार एक तरीके की चुनौती है. इस पर हम नजर रख रहे हैं.
ये भी पढ़ें- शरजील की गिरफ्तारी पर बोले गिरिराज- केजरीवाल जी...अमित शाह ने कर दिखाया
J-K में सीआरपीएफ की करीब 60 बटालियन
एपी माहेश्वरी से जम्मू कश्मीर के इलेक्शन को लेकर जब सवाल पूछा गया तो उन्होंने कहा कि सरकार ने जो निर्णय लिया वो हमें नहीं मालूम है. हमारे जितने भी बल वहां पर हैं, लगभग 60 बटालियन सीआरपीएफ की वहां पर है. वह किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तैयार है.
जितेंद्र बहादुर सिंह