पाकिस्तान बेहाल है, लेकिन बाज नहीं आ रहा. भारत की सरहदों और लाइन ऑफ कंट्रोल पर इस वक्त भी सैकड़ों आतंकी इस फिराक में है कि बीएसएफ की नजर इधर उधर हो, और वो भारत में घुसपैठ कर यहां फिर आतंक के मंसूबों में कामयाब हो सकें.
भारतीय खुफिया एजेंसियां भी चौकस हैं. खबर यह है कि सीमापार पाकिस्तानी कैम्पों में करीब 2000 हथियार बंद आतंकवादी इस तरफ जम्मू-कश्मीर आने की फिराक में है. यह आतंकवादी अब लश्कर-ए-तैय्यबा और जैशे-मोहम्मद संगठनों के नाम से नही ,बल्कि आतंक के नए नामों से यहा आ रहे है.
यह आतंकी 26 ट्रेनिग कैंपों और लांचिंग पैडो में इंतजार कर रहे हैं. जानकार मानते हैं कि मार्च के बाद जैसे ही भारत-पाक सीमा पर बर्फ पिघलना शुरु होगी तो आतंकवादी इस पार घुसपैठ की कोशिश जरूर करेंगे. खुफिया एजेंसियों की खबर है कि आईएसआई ने सभी आंतकी संगठनो से कहा है कि वह अपने पुराने नाम से कोई पहचान पत्र न जारी करे और कोड नाम से फर्जी आईकार्ड बनाकर उन्हें यहां भेजे.
जानकारों के मुताबिक इस सबके पीछे मकसद यही है कि दुनिया को ये संदेश मिले, कि जम्मू-कश्मीर के खून खराबे में पाकिस्तान का कोई हाथ नही है.
आज तक ब्यूरो