Premanand Maharaj: कुछ लोगों को ऐसा विश्वास है कि अपने नाम की स्पेलिंग या कोई एक अक्षर बदल लेने से तकदीर बदल जाती है. फिल्मी जगत के कई सितारे इसका उदाहरण हैं, जिन्होंने गुडलक के लिए अपने नाम की स्पेलिंग ही बदल डाली. हाल ही में वृंदावन वाले प्रेमानंद महाराज से एक शख्स ने यही सवाल पूछा कि क्या वाकई नाम की स्पेलिंग बदलने से जीवन बदल जाता है. क्या ऐसा करने से अमीर हुआ जा सकता है या सपनों को पूरा किया जा सकता है.
इस सवाल को सुनकर प्रेमानंद महाराज पहले मुस्कुराए और फिर बोले, 'करके देख लो! अगर अमीर हो जाओ तो हमें बता देना. ताकि हम भी दूसरे लोगों को आपका ये प्रयोग बता सकें.' प्रेमानंद महाराज ने आगे कहा कि ये सब बकवास है. भगवत अनुष्ठान किए बिना अपने बुरे कर्मों को बदला नहीं जा सकता. अंगूठी पहनने, छल्ला धारण करने या जन्तुर बांधने से कभी लाभ नहीं होगा.
प्रेमानंद महाराज ने आगे कहा कि नाम जप करो. ईमानदारी से सबके साथ अच्छा व्यवहार करो. कोई पाप आचरण मत करो. जो दुख सुख आए उसे भोग लो. आगे चलकर आपका जीवन अपने आप सुखमय हो जाएगा. नाम की स्पेलिंग बदलने से कुछ नहीं होगा. अपने सपनों को पूरा करने के लिए आपके पास पर्याप्त तप की क्षमता होनी चाहिए. इसके बाद भजन-साधना चाहिए. धर्म के मार्ग पर चलो. परोपकार करो. इन बातों से ही व्यक्ति का मंगल होगा.
'ड्रामेबाजी में लोगों का भरोसा ज्यादा'
प्रेमानंद महाराज ने कहा कि आजकल ये सब ड्रामेबाजी लोगों को ज्यादा पसंद आती है. क्योंकि उसमें कुछ करना नहीं होता है. एक फैक्ट्री को चलाने के लिए लोग उसके नाम में एक अक्षर जोड़कर या बदलकर सोचते हैं कि इससे मनचाहा परिणाम मिल जाएगा, तो ये निश्चित तौर पर नाटकबाजी है.
फिर कुछ लोगों को ऐसा करने पर सफलता मिल भी जाती है. लेकिन ये महज एक तुक्का हो सकता है, जो हमेशा नहीं लगता. इसमें आदमी भ्रमित रहता है कि नाम बदलने का प्रयोग सफल हो गया. जबकि वो ये भूल जाता है कि उसकी मेहनत या पिछला कोई अच्छा कर्म ही इस परिणाम की असली वजह है.
प्रेमानंद महाराज ने कहा कि मैंने कितने लोगों को देखा है जो ये दावा करते हैं कि घर में कोई खास चीज रखने से वो करोड़पति हो गए. इस हिसाब से देखा जाए तो उपाय बताने वाले को तो खरबपति होना चाहिए. वो आपको एक अंगूठी पहनाकर करोड़पति बना रहा है. जबकि उसके खुद के पास तो ऐसी हजारों अंगूठियां होंगी.
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