Kharmas 2025: खरमास को हिंदू धर्म में ऐसा समय माना जाता है जब सूर्य अपनी गति बदलते हुए धनु राशि में प्रवेश करता है. इस बदलाव के कारण पूरे एक महीने तक शुभ कार्यों पर विराम लग जाता है. यही कारण है कि दिसंबर में जब सूर्य धनु राशि में पहुंचते हैं, तब खरमास की शुरुआत होती है और यह मास लगभग एक माह तक चलता है. इस अवधि के दौरान विवाह, गृह प्रवेश, मुंडन, नए व्यवसाय की शुरुआत और अन्य मांगलिक कार्य नहीं किए जाते है. इस बार खरमास की शुरुआत 16 दिसंबर से होगी.
खरमास का संबंध सूर्य की ऊर्जा से भी जुड़ा है. ज्योतिष मान्यताओं के मुताबिक इस दौरान सूर्य की प्रभावशीलता कमजोर होती है और गृहस्थ जीवन व भौतिक कार्यों के लिए समय अनुकूल नहीं माना जाता है. इसलिए इस महीने में लोग आध्यात्मिक साधना, जप-तप, पूजा-पाठ, व्रत और दान-पुण्य पर अधिक ध्यान देते हैं. ज्योतिर्विदों के अनुसार, सूर्य देव की कुछ प्रिय राशियां भी हैं, जिनपर उनकी कृपा हमेशा बनी रहती है. तो चलिए जानते हैं कि उन राशियों के बारे में जो सूर्यदेव की अत्यंत प्रिय हैं और किसकी किस्मत सोने की तरह चमकेगी.
1. मेष
मेष सूर्य की उच्च राशि होने के कारण सूर्य देव की खास कृपा इस राशि पर रहती है. मेष जातक साहसी, ईमानदार और ऊर्जा से भरे होते हैं. इसलिए ये लोग नेतृत्व और करियर में तेजी से आगे बढ़ते हैं. जल्दबाजी के कारण कभी-कभी गलत निर्णय भी ले लेते हैं, लेकिन समय के साथ इन्हें अपनी गलतियों का पछतावा हो जाता है.
2. सिंह
सिंह सूर्य की अपनी ही राशि होने के कारण सूर्य देव की सबसे प्रिय राशि मानी जाती है. इस राशि के लोग जन्म से ही आत्मविश्वासी, ऊर्जावान और स्वभाव से लीडर होते हैं. जहां भी जाते हैं, अपनी मौजूदगी से सभी का ध्यान आकर्षित करते हैं. सूर्य की कृपा से इन्हें समाज में सम्मान, पद और पहचान आसानी से मिलती है. लेकिन सूर्य कमजोर होने पर थकान या ऊर्जा की कमी महसूस हो सकती है.
3. धनु
धनु अग्नि तत्व की राशि होने के कारण सूर्य देव की कृपा इस राशि पर विशेष मानी जाती है. धनु जातक स्वभाव से ईमानदार, धार्मिक और ऊर्जावान होते हैं और भाग्य अक्सर इनका साथ देता है. शिक्षा, प्रशासन, लेखन और विदेश से जुड़ी नौकरियों में ये जल्दी सफलता पाते हैं. सूर्य मजबूत होने पर अचानक सम्मान, अवसर और प्रगति मिलती है, जबकि सूर्य कमजोर हो तो आत्मविश्वास में गिरावट महसूस हो सकती है.
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