सनातन में महिलाएं देवी जैसे...बोली- धर्म बदलकर रुखसार से वंशिका बनी युवती, रचाई हिंदू से शादी  

मध्य प्रदेश के खंडवा जिले के महादेवगढ़ मंदिर में एक अनोखा मामला सामने आया है, जहां धार की रहने वाली मुस्लिम युवती रुखसार ने सनातन धर्म अपनाते हुए वैदिक रीति से हिंदू युवक विशाल राजपूत से विवाह किया. उसने श्रीरामचरितमानस को सिर पर रखकर पढ़ने का संकल्प भी लिया.

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खंडवा में धर्म बदलकर रुखसार से वंशिका बनी युवती (Photo: ITG) खंडवा में धर्म बदलकर रुखसार से वंशिका बनी युवती (Photo: ITG)

जय नागड़ा

  • खण्डवा,
  • 06 नवंबर 2025,
  • अपडेटेड 1:08 PM IST

मध्य प्रदेश को खण्डवा के महादेवगढ़ मंदिर में धार की रहने वाली रुखसार ने सनातन को स्वीकार करते हुए वैदिक पद्धति से एक हिन्दू युवक से विवाह  किया. उसने बाक़ायदा श्री रामचरितमानस को सर पर रखकर पढ़ने का लिया संकल्प भी लिया. रुखसार का निकाह उसके घरवालों ने इसी महीने तय किया था लेकिन उसकी सनातन के प्रति ऐसी आस्था जागी कि उसने इंस्टाग्राम से संपर्क में आये हिन्दू युवक से विवाह कर धर्म परिवर्तन कर लिया .

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खण्डवा के महादेवगढ़ मंदिर में इसके पहले भी कई मुस्लिम सनातन धर्म अपना चुके हैं. इसी सप्ताह एक मोहम्मद नामक व्यक्ति ने सनातन में प्रवेश करते हुए अपना नया नाम महादेव रख लिया था. अब यहां धार की रहने वाली युवती रुखसार ने न केवल सनातन को अपनाया बल्कि हिन्दू युवक से विवाह करके अपने जीवन को नई दिशा भी दे दी है. उसका कहना था कि बचपन से ही उसे यह लगता था कि सनातन धर्म में महिलाओं को जितना सम्मान दिया जाता है उतना कहीं और नहीं , यहां उसे देवी की तरह दर्जा दिया गया है. उसे बचपन से ही माथे पर बिन्दी लगाना ,साड़ी पहनना अच्छा लगता था.

नवरात्रि में वह माताजी के दर्शन के लिए भी नियमित जाती थी. अभी जब उसके परिवार ने उसका निकाह कही तय कर दिया तो उसे लगा कि अभी उसने निर्णय नहीं लिया तो फिर कभी वो यह नहीं कर पायेगी. इसमें उसका साथ निभाया खण्डवा के इंस्टाग्राम मित्र विशाल राजपूत ने.

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धर्म बदलकर रुखसार से वंशिका बनी युवती ने कहा-  मैंने अपने जीवन में सनातन में प्रवेश किया है , मैंने विशाल से शादी की है. मुझे यह धर्म अच्छा लगता था इसलिए इस धर्म में शादी की है. इस धर्म में लड़कियों को मान्यता देते है ,उन्हें देवी का रूप मानते है. विशाल से मेरी मुलाकात इंस्टाग्राम पर हुई थी. मुझे इनका धर्म अच्छा लगा इसलिए महादेवगढ में आकर शादी की है. 
 
उसने आगे कहा- मैंने अपनी मर्जी से अपना फैसला लिया है ,मैंने इनसे शादी की है और मुझे रहना इनके ही साथ है. मेरे को जबर्दस्ती किसी और से शादी नहीं करनी. मुझको अपने धर्म में तो रहना ही नहीं है , इसलिए ये धर्म अपनाया है. इस धर्म में बहुत कुछ अच्छा है. मैं आज से रामचरितमानस पढूंगी.

  

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