साहित्य के सितारों का महाकुंभ यानी साहित्य आजतक के डिजिटल संस्करण ई-साहित्य आज तक का तीसरा और आखिरी दिन कोरोना वॉरियर्स के साथ शुरू हुआ. इस शो को शम्स ताहिर खान ने मॉडरेट किया. इस प्रोग्राम में प्रवीण कुमार, आईपीएस, मेरठ रेंज, हरिनारायणचारी मिश्रा, डीआईजी (सिटी) इंदौर-मध्य प्रदेश, डॉक्टर शरद सिंघी, ईएनटी स्पेशलिस्ट और डॉक्टर श्रुति मलिक ने कोरोना के खिलाफ लड़ाई में अपने अनुभव साझा किए.
बहरहाल, ई-साहित्य आजतक के मंच पर कोरोना वॉरियर्स का प्रतिनिधित्व कर रहे पुलिस अधिकारी और डॉक्टर्स ने शम्स ताहिर खान से कहा कि टेस्टिंग के बिना कोरोना का पता लगाना मुश्किल है.
e-Sahitya Aaj Tak 2020 Day 3 Live Updates: पढ़ें कोरोना वॉरियर्स से जुड़े अनुभव के अपडेट
मेरठ जोन के आईजी प्रवीण कुमार ई-साहित्य आजतक के मंच पर कोरोना वॉरियर्स को सलाम करने पहुंचे और अपनी एक कविता सुनाई. उन्होंने कहा कि पुलिस कोरोना काल में उपजी हर तरह की चुनौती से जूझने के लिए तैयार है.
प्रवीण कुमार ने कहा कि कोरोना लॉकडाउन के दौरान यूपी पुलिस की बड़ी जिम्मेदारी थी. यूपी से होकर बिहार, पश्चिम बंगाल और झारखंड के मजदूर अपने घरों के लिए. हमने अपने कर्तव्यों को बखूबी निभाया. आपसी समन्वय के साथ काम किया. अब स्थिति नियंत्रण में है.
कोरोना पर फुल कवरेज के लिए यहां क्लिक करें
वहीं डॉ. श्रुति ने कहा कि कोरोना पीड़ित मरीजों के इलाज के दौरान हमें डर लगा. लेकिन डरने की जरूरत नहीं. सकारात्मक सोच रखनी है. युवा मरीज 99 फीसदी ठीक हो रहे हैं. हम सुरक्षा के साथ काम कर रहे हैं. हमारा कर्तव्य बनता है कि लोगों के हौसले को बुलंद बनाए रखा जाए. बुलंद हौसले से इस जंग को जीता जा सकता है. सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना है.
कोरोना कमांडोज़ का हौसला बढ़ाएं और उन्हें शुक्रिया कहें...
मध्य प्रदेश में इंदौर के डीआईजी (सिटी) हरिनारायणचारी मिश्रा ने कहा कि अपराध में गिरावट आई है. लेकिन यह आधा ही सही है. लॉकडाउन के बाद चीजों को देखना होगा. बहुत सारे लोग घरों में हैं इसलिए अपराध कम है. लेकिन लॉकडाउन के बाद चुनौती बढ़ेगी. पीपीई किट में पुलिस के जवानों को काम करना होगा, वरना पुलिस के जवान भी संक्रमण के शिकार हो जाएंगे.
देश-दुनिया के किस हिस्से में कितना है कोरोना का कहर? यहां क्लिक कर देखें
ईएनटी स्पेशलिस्ट डॉ. शरद सिंघी ने कहा कि कोरोना एक वायरल डिजीज है. अगर आपकी इम्युनिटी अच्छी है तो कोरोना से निपटा जा सकता है. बिना टेस्ट के कुछ नहीं कहा जा सकता है. बहुत सारे मरीजों को पता ही नहीं चल रहा है कि उन्हें कोरोना है या नहीं. लेकिन कई लोगों के चेक किए जाने के बाद पता चला कि उनमें एंटीबॉडी बन गया है इसलिए उनमें कोरोना था. लेकिन बाद में वे ठीक हो गए क्योंकि उनकी इम्युनिटी ठीक थी.
aajtak.in