बुलंदशहर हिंसा: बुलंदशहर: 3 दिन से अनशन पर सुमित के परिजन, FIR से नाम हटाने की मांग

बुलंदशहर हिंसा में मारे गए सुमित के पिता ने कहा है कि जब तक उनके बेटे का नाम एफआईआर से नहीं हटाया जाता, तब तक उनका पूरा परिवार कुछ नहीं खाएगा, भले ही सबकी मौत हो जाए.

Advertisement
बुलंदशहर हिंसा में मारा गया सुमित (फाइल फोटो) बुलंदशहर हिंसा में मारा गया सुमित (फाइल फोटो)

aajtak.in

  • ,
  • 05 दिसंबर 2018,
  • अपडेटेड 10:41 PM IST

बुलंदशहर हिंसा मामले में एक नया मोड़ आ गया है. मारे गए युवक सुमित के परिजनों ने अनशन शुरू कर दिया है. परिजनों ने एफआईआर से सुमित का नाम हटाने की मांग करते हुए ऐलान किया है जब तक उनकी मांग पूरी नहीं होती वह खाना नहीं खाएंगे.

सुमित के पिता ने कहा कि हमने पिछले तीन दिनों से भोजन त्याग दिया है. अगर सुमित का नाम एफआईआर से नहीं हटाया गया तो यह अनशन जारी रहेगा, चाहे पूरे परिवार की जान ही क्यों न चली जाए. इस हिंसा में पुलिस ने 88 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है, जिसमें 27 लोग नामजद हैं. इनमें से एक सुमित भी है.

Advertisement

एसआईटी ले सकती है फैसला

इस मामले में मंगलवार को स्थानीय सांसद भोला सिंह ने बताया था कि प्रशासन ने वादा किया है कि FIR से सुमित का नाम हटेगा. मेरठ जोन के एडीजी प्रशांत कुमार ने बताया था कि 27 लोगों पर हुई एफआईआर की सूची में सुमित का नाम 16वें स्थान पर है, उसकी मौत हो गई है,  अगर उसके खिलाफ आरोप सिद्ध भी हो जाते हैं तो भी उसके खिलाफ कार्रवाई नहीं की जा सकती है. चूंकि राज्य सरकार के निर्णय से एसआईटी का गठन किया गया है, सुमित को लेकर केवल एसआईटी ही कोई फैसला ले सकती है.

योगी सरकार देगी आर्थिक मदद

सुमित के परिवारवालों को योगी सरकार ने 10 लाख रुपए की आर्थिक मदद की घोषणा की थी. लेकिन परिवार सुमित का नाम एफआईआर से हटाने पर अड़ा है.

Advertisement

पोस्टमार्टम में खुलासा

इससे पहले हिंसा में शहीद हुए स्याना के थाना प्रभारी इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह की पोस्टमार्टम रिपोर्ट से खुलासा हुआ था कि उनकी मौत गोली लगने की वजह से ही हुई थी. यानी साफ है कि उनकी गोली मारकर हत्या की गई थी. बुधवार को आई पोस्टमार्टम रिपोर्ट के मुताबिक इंस्पेक्टर सुबोध की लेफ्ट आई ब्रो के पास से गोली लगी थी. जो अंदर घुस गई थी. गोली उनके सिर के पीछे के हिस्से में जाकर फंस गई थी.

मुख्य आरोपी ने जारी किया वीडियो

मुख्य आरोपी और बजरंग दल का जिला संयोजक योगेश राज भले ही अभी तक पुलिस के हत्थे नहीं चढ़ा हो, लेकिन उसने एक वीडियो जारी करके अपनी सफाई पेश की है. उसका कहना है कि वह घटना स्थल पर नहीं बल्कि घटना के वक्त थाने में था.

क्या है मामला

सोमवार (3 दिसंबर) को बुलंदशहर के स्याना थाना क्षेत्र के एक खेत में गोकशी की आशंका के बाद बवाल हुआ था. ग्रामीणों और पुलिस के बीच हुई फायरिंग में इंस्पेक्टर सुबोध कुमार और एक युवक सुमित की मौत हो गई थी. लोगों का आरोप है कि सुमित की मौत पुलिस की ओर से की गई फायरिंग में हुई थी.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement