कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने निजीकरण के बहाने मोदी सरकार पर निशाना साधा है. राहुल ने गुरुवार को ट्वीट करते हुए कहा कि देश के PSU को सूट-बूट वाले मित्रों को बांटा जा रहा है, जिसे देश ने वर्षों की मेहनत से खड़ा किया है.
राहुल गांधी ने कहा कि ये लाखों PSU कर्मचारियों के लिए अनिश्चितता और भय का समय है. मैं इस लूट के विरोध में उन सभी कर्मचारियों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा हूं. राहुल गांधी ने अपने ट्वीट में एयर इंडिया, बीपीसीएल और भारत के नक्शे की तस्वीर लगाई है, जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर व्यंग कसा गया है.
बीते कुछ दिनों से केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर सार्वजनिक उपक्रमों के संस्थानों के निजीकरण का आरोप लग रहा है. रेलवे, उड्डयन, अस्पताल और संचार जैसे सार्वजनिक उपक्रमों के निजीकरण पर लगातार सवाल खड़े किए जा रहे हैं .
निजीकरण नहीं, निवेशीकरण पर जोर
इससे पहले रेलवे के निजीकरण की खबरों पर केंद्रीय रेल मंत्री पीयूष गोयल ने गुरुवार को ही कहा था कि सरकार रेलवे का निजीकरण करने नहीं जा रही है. हमारा लक्ष्य रेलवे में बड़ी मात्रा में निवेश करना है , इसके लिए हम पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप पर विचार कर रहे हैं. साथ ही हम विश्व की आधुनिकतम तकनीक को रेलवे से जोड़ेंगे.
क्या है मामला?
हाल ही में ऐसे खबरें आई थीं कि रेल मंत्रालय ने 50 रेलवे स्टेशनों और 150 ट्रेनों के निजीकरण के लिए एक कमेटी बनाई है . निजीकरण को लेकर नीति आयोग ने रेलवे बोर्ड के चेयरमैन को एक खत भी लिखा. इस खत में 400 रेलवे स्टेशनों को विश्व स्तर का बनाए जाने को लेकर जिक्र है.
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