दिल्ली स्थित जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU) में रविवार शाम हुई हिंसा में छात्रसंघ अध्यक्ष आइशी घोष समेत कई छात्र घायल हैं. दो कैबिनेट मंत्रियों सहित जेएनयू के कई एल्युमनाई ने इस हिंसा की निंदा करते हुए हमलावरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है.
यह हमला जेएनयू कैंपस के भीतर हुआ. नकाबपोश हमलावरों ने कई हॉस्टलों में जाकर हमला किया. चश्मदीदों का कहना है कि जेएनयू कैंपस में 50 से ज़्यादा लोग घुस आए, जिन्होंने डंडे और लाठियां ले रखी थीं. अधिकांश ने अपने चेहरे पर कपड़े बांधे हुए थे. कैंपस में दाखिल होते ही इन लोगों ने छात्रों पर हमला शुरू कर दिया.
केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण और एस. जयशंकर ने जेएनयू छात्रों पर हमले की निंदा की है. जेएनयू के पूर्व छात्र और विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा, 'जेएनयू में क्या हो रहा है इसकी तस्वीरें देखिए. हिंसा की कड़ी निंदा करते हैं. यह पूरी तरह से विश्वविद्यालय की परंपरा और संस्कृति के खिलाफ है.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा, 'कैम्पस से आने वालीं तस्वीरें 'भयानक' हैं.' उन्होंने ट्वीट कर कहा, 'जेएनयू से डरावनी तस्वीरें सामने आ रही हैं. मैं जिस जेएनयू को जानती हूं उसे परिचर्चा और विचारों के आदान-प्रदान के लिए जाना जाता है, लेकिन हिंसा के लिए नहीं. मैं घटना की निंदा करती हूं. हमारी सरकार देश के तमाम विश्वविद्यालयों को छात्रों के लिए एक सुरक्षित स्थान बनाना चाहती है.'
बॉलीवुड एक्ट्रेस स्वरा भास्कर इस हमले के बाद काफी परेशान दिखीं. उन्होंने इस मामले में हिंसा का आरोप एबीवीपी पर लगाया है. स्वरा ने ट्वीट करते हुए लिखा, अर्जेंट अपील. सभी दिल्लीवासी, बाबा गंगनाथ मार्ग पर जेएनयू कैंपस के मेन गेट के बाहर बड़ी संख्या में पहुंचे ताकि सरकार और दिल्ली पुलिस पर एक्शन लेने के लिए दबाव बनाया जा सके और एबीवीपी के मास्क वाले गुंडों को जेएनयू कैंपस में तोड़फोड़ और हिंसा से रोका जा सके.
स्वरा ने इस ट्वीट के साथ एक वीडियो भी शेयर किया था जिसमें वे काफी इमोशनल नजर आईं. स्वरा ने वीडियो में बताया कि उनके पेरेंट्स भी जेएनयू में ही रहते हैं और वो इस खबर से परेशान हैं. स्वरा ने इसके अलावा एक ट्वीट में ये भी बताया कि उनकी मां ने उन्हें एसएमएस पर बताया है कि नॉर्थ गेट के बाहर लोग 'देश के गद्दारों को-गोली मारो सालों को' नारे लगा रहे हैं.
कन्हैया कुमार ने कहा, 'सुनो साहेब, टीवी से जितना झूठ फैलाना है, फैला लो! जितना बदनाम करना है, कर लो! इतिहास यही कहेगा कि आपकी सरकार ग़रीबों के बच्चों के पढ़ने के ख़िलाफ़ थी और देश के विद्यार्थी आपकी इस साज़िश के ख़िलाफ़ उठ खड़े हुए क्योंकि उनकी रगों में गांधी, अम्बेडकर, भगतसिंह और अश्फ़ाक का ख़ून है.'
वहीं जेएनयूएसयू की पूर्व उपाध्यक्ष शेहला राशिद ने जेएनयू के साथ एकजुटता प्रदर्शित करने का आह्वान किया. पूर्व छात्र नेता उमर खालिद ने कहा, "ये कायर जेएनयू की भावना को नहीं तोड़ पाएंगे. हम मजबूत होंगे."
आरोप-प्रत्यारोप
बता दें कि जेएनयू छात्र संघ ने दावा किया है कि अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) ने हिंसा को अंजाम दिया है. वहीं, एबीवीपी ने लेफ्ट विंग पर मारपीट करने का आरोप लगाया है. इस हिंसा में छात्र संघ अध्यक्ष आइशी घोष समेत कई छात्र घायल हैं. जेएनयू में फीस बढ़ोतरी को लेकर लंबे समय से प्रोटेस्ट चल रहा है.
aajtak.in