370 हटने और अक्साई चिन पर बयानों से सीमा पर हमलावर हो गया है चीन?

रक्षा विशेषज्ञ अभिषेक मतिमान ने आजतक से बातचीत में कहा कि आज हम चीन के विश्वासघात की बातें कह रहे हैं, लेकिन विश्वासघात तो ऐतिहासिक रूप से चीन करता ही आया है तो आज की तारीख में अगर हमें इसका अहसास हो रहा है तो हमसे देर हो गई है.

Advertisement
एलएसी पर दोनों देश की सेनाओं में हुई हिंसक झड़प (Photo: Getty Images) एलएसी पर दोनों देश की सेनाओं में हुई हिंसक झड़प (Photo: Getty Images)

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 17 जून 2020,
  • अपडेटेड 7:21 PM IST

  • रक्षा विशेषज्ञ अभिषेक मतिमान ने आजतक से की बातचीत
  • बोले- ऐतिहासिक रूप से चीन ही करता आया है विश्वासघात

क्या सीमा पर चीन के आक्रामक तेवरों की वजह धारा 370 का हटना है? क्या संसद में पीओके और अक्साई चिन को आजाद कराने जैसे बयानों से टेंशन में आ गया है चीन? लद्दाख में एलएसी यानी लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल के पास भारत का ढांचा खड़ा करना ड्रैगन को खतरे की घंटी लग रहा है? एक्सपर्ट की मानें तो इनका जवाब हां में है. वो आगाह भी करते हैं कि अगर भारत की ओर से इस तरह के बयान दिए जाते हैं और सीमा पर अपनी तैयारियां बढ़ाई जाती हैं तो चीन की ओर से उसके जवाब के लिए भी हमें तैयार रहना होगा.

Advertisement

रक्षा विशेषज्ञ अभिषेक मतिमान ने आजतक से बातचीत में कहा कि आज हम चीन के विश्वासघात की बातें कह रहे हैं लेकिन विश्वासघात तो ऐतिहासिक रूप से चीन करता ही आया है तो आज की तारीख में अगर हमें इसका अहसास हो रहा है तो हमसे देर हो गई है.

उन्होंने कहा कि चीन की तरफ से गलवान के बारे में जो बयान आया है वो आशा के अनुरूप ही है. अभी तक जो-जो चीजें पिछले कुछ हफ्तों में हुई हैं वो इस बात का सबूत हैं कि चीन कहता कुछ है और करता कुछ है. ये 1962 से ही चला आ रहा है.

1962 की लड़ाई में गलवान वैली तक चीनी आ गए थे

अभिषेक मतिमान ने कहा कि 1962 की लड़ाई में गलवान वैली तक चीनी आ गए थे, लेकिन युद्ध के समाप्त होने पर वो खुद पीछे उस जगह पर चले गए जहां अप्रैल तक वो थे क्योंकि गलवान घाटी में रहना उनके लिए उस समय मुश्किल था. अब जब वो घाटी में आए हैं, तो तैयारी के साथ आए हैं. मुश्किलों का सामना करते हुए वो वहां अपना बुनियादी ढांचा डवलप कर रहे हैं, तो उसके पीछे एक साफ मंशा है, वो वहां घूमने नहीं आए हैं, वो वहां हम पर हावी होने आए हैं. अभिषेक ने इसकी वजह भी बताई.

Advertisement

गलवान घाटी में जवानों की शहादत पर बोले पीएम मोदी, वे मारते-मारते मरे

उन्होंने कहा कि हमारी तरफ से नेताओं ने, संसद में भी कुछ ऐसे बयान दिए थे कि 370 हटने के बाद पीओके और अक्साई चिन भी अपना है. इन चीजों का असर पड़ता है, दूसरे देश भी सुनते और देखते हैं कि किस तरह औपचारिक फोरम पर ऐसे बयान दिए जा रहे हैं. चीन की यही चिंता है. वो चिंतिंत है कि वहां हमारा ढांचा भी डवलप भी हो रहा है और हमारे यहां से ऐसे बयान भी जा रहे हैं तो उसके लिए हमें तैयार रहना पड़ेगा.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement