सरबत खालसा को लेकर पंजाब पुलिस को भेजा गया अलर्ट

पंजाब पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक केंद्रीय एजेंसियों ने पंजाब पुलिस को एक अलर्ट भेजा था, जिसमें यह कहा गया था कि पाकिस्तान में छिप कर बैठे खालिस्तानी समर्थक सिख आतंकवादी पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई के इशारे पर सरबत खालसा की आड़ में पंजाब का माहौल बिगाड़ने की प्लानिंग कर रहे हैं.

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सरबत खालसा सरबत खालसा

सतेंदर चौहान / सुरभि गुप्ता

  • चंडीगढ़,
  • 09 नवंबर 2016,
  • अपडेटेड 8:30 AM IST

पंजाब में 10 नवंबर को कई पंथक सिख संगठनों ने सरबत खालसा का आयोजन करने की तैयारी की थी, लेकिन पंजाब पुलिस ने इन लोगों को ऐसा करने से रोक दिया और गरमपंथी सिख संगठनों के कई सिख नेताओं व कार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया.

इसके बाद रेडिकल ग्रुप शिरोमणि अकाली दल मान के प्रधान सिमरनजीत सिंह मान ने पंजाब हरियाणा हाई कोर्ट में याचिका लगाकर हाई कोर्ट से इस मामले में दखल देने की मांग की थी. लेकिन मंगलवार को सिमरनजीत सिंह मान ने इस याचिका को वापस ले लिया.

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इससे पहले पंजाब पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक केंद्रीय एजेंसियों ने पंजाब पुलिस को एक अलर्ट भेजा था, जिसमें यह कहा गया था कि पाकिस्तान में छिप कर बैठे खालिस्तानी समर्थक सिख आतंकवादी पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई के इशारे पर सरबत खालसा की आड़ में पंजाब का माहौल बिगाड़ने, पंजाब में दंगा फैलाने और पंजाब में किसी बड़े आतंकी हमले को अंजाम देने के लिए प्लानिंग कर रहे हैं.

इस अलर्ट के मुताबिक आईएसआई की कोशिश है कि पंजाब के रेडिकल ग्रुप्स को सरबत खालसा के बहाने इकट्ठा किया जाए और पंजाब का माहौल बिगाड़ा जाए. यह अलर्ट मिलने के बाद पंजाब सरकार ने बठिंडा के तलवंडी साबो, जहां पर इस सरबत खालसा को बुलाया गया था, वहां पर सुरक्षा और कड़ी कर दी है. पंजाब सरकार ने साफ कर दिया है किस सरबत खालसा एक धार्मिक कार्यक्रम होता है और किसी भी रैडिकल ग्रुप या राजनीतिक संगठन को अपने मंसूबों को पूरा करने के लिए सरबत खालसा के आयोजन को करने की इजाजत में नहीं दी जाएगी.

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दरअसल सरबत खालसा सिखों का एक ऐसा धार्मिक आयोजन होता है, जिसे अकाल तख्त के प्रधान या फिर सिखों के दूसरे धार्मिक तख्त के जत्थेदार बुलाते हैं और इस सरबत खालसा में सिखों से जुड़े धर्म के मामलों पर एक पंचायत होती है और उसके बाद सर्वसम्मति से फैसले लिए जाते हैं. लेकिन पिछले कुछ सालों में कई पंथक सिख संगठन, रेडिकल ग्रुप और कई राजनीतिक पार्टियां अपने फायदे और नुकसान के हिसाब से सरबत खालसा को बुलाती रही हैं. इसी वजह से पंजाब पुलिस इस आयोजन को लेकर सख्ती कर रही है.

पंजाब पुलिस को मिले केंद्रीय एजेंसियों के अलर्ट और पुलिस की सख्ती के बाद ऐसा माना जा रहा है कि अब इस सरबत खालसा का आयोजन नहीं हो पाएगा और इसी वजह से पंजाब-हरियाणा हाई कोर्ट में इस सरबत खालसा के समर्थन में लगाई गई याचिका को भी याचिकाकर्ता ने वापस ले लिया है.

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