पंजाब: सरकारी कॉलेजों में एडमिशन से पहले करवाना होगा डोप टेस्ट

नशे के खिलाफ पंजाब सरकार राज्य के सभी सरकारी कॉलेजों में स्टेट लेवल पर ये मुहिम शुरू करने जा रही है. इससे एक तो नशे की गिरफ्त में आ चुके स्टूडेंट्स का पता चलेगा और साथ ही सरकार का डेटा भी तैयार होगा कि वाकई में कितने लोग पंजाब में नशे की गिरफ्त मे हैं.

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इसी सत्र से लागू हो सकता है नियम इसी सत्र से लागू हो सकता है नियम

प्रियंका झा / सतेंदर चौहान

  • चंडीगढ़,
  • 26 जून 2016,
  • अपडेटेड 1:06 PM IST

पंजाब में बढ़ती नशे की समस्या सरकार की इमेज पर लगातार सवालिया निशान लग रहे हैं. इस इमेज से छुटकारा पाने के लिए अब सरकार कई कोशिश कर रही हैं. फिलहाल सरकार ने कॉलेजों में एडमिशन से पहले डोप टेस्ट क्लियन करना अनिवार्य कर दिया है. यानी अब नशे के आदी युवाओं को सरकारी कॉलेज में दाखिला नहीं मिलेगा. इससे पहले पुलिस भर्तियों में डोप टेस्ट अनिवार्य किया गया था.

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नशे के खिलाफ पंजाब सरकार राज्य के सभी सरकारी कॉलेजों में स्टेट लेवल पर ये मुहिम शुरू करने जा रही है. इससे एक तो नशे की गिरफ्त में आ चुके स्टूडेंट्स का पता चलेगा और साथ ही सरकार का डेटा भी तैयार होगा कि वाकई में कितने लोग पंजाब में नशे की गिरफ्त मे हैं. इसके लिए हायर एजुकेशन विभाग ने सरकारी कॉलेजों में एडमिशन अथवा री-एडमिशन करवाने वाले युवाओं का डोप टेस्ट करवाने की योजना बनाई है. फिलहाल इसके लिए फीडबैक ली जा रही है.

इस साल लागू हो सकता है नियम
नए नियम को इसी साल या अगले सेशन से इसे लागू कर दिया जाएगा. इसके लिए स्वास्थ्य विभाग की मदद भी ली जाएगी. इस प्रस्ताव का मकसद नशा करने वालों की पहचान करके सेहत विभाग के जरिए उनका इलाज करवाना है. आशंका जताई जा रही है कि नौजवानों व बच्चों की ओर से कई तरह के नशे किए जा रहे हैं. इस सच्चाई का पता लगाने के सरकार डोप टेस्ट का सहारा ले रही है. पंजाब में हायर एजुकेशन मिनिस्टर सुरजीत सिंह रखड़ा ने बताया की इस के लिए उनका विभाग तैयारी कर रहा है और इस की शुरुआत पटियाला के महिंद्रा कॉलेज से की जाएगी. उन्होंने इस मौके पर कहा की डोप टेस्ट वर्ल्ड एंटी डोपिंग (वाड़ा) जैसी एजेंसी की तर्ज पर करवाए जाएंगे.

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पंजाब मे 48 सरकारी कॉलेजों में 80,739 स्टूडेंट पढ़ रहे हैं. जिनमें से 38695 लड़के और 42044 लड़कियां हैं. वहीं राज्य में प्राइवेट एडेड 136 कॉलेज हैं जिनमें लगभग 1.88 लाख स्टूडेंट पढ़ रहे हैं, इन कॉलेजों को दूसरे चरण में इस डोप टेस्ट योजना में शामिल करने की प्लानिंग है. हालांकि इतनी तादाद में युवाओं का डोप टेस्ट किसी चुनौती से कम नहीं है.

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