कांवड़ यात्रा के दौरान विक्रेताओं की पहचान उजागर करने को लेकर एक बहस छिड़ गई है. इस बहस में यह सवाल उठाया जा रहा है कि क्या कांवड़ यात्रा के मार्ग में पड़ने वाले हर विक्रेता को अपनी धार्मिक पहचान बतानी चाहिए. एक पक्ष का मानना है कि धार्मिक त्योहारों में पवित्रता बनाए रखने के लिए यह आवश्यक है, खासकर 'थूक जिहाद' जैसे नए शब्द के सामने आने के बाद. यह तर्क दिया गया कि पवित्रता के लिए खानपान में लहसुन-प्याज तक का ध्यान रखा जाता है, ऐसे में पहचान छुपाना उचित नहीं है.