मीटिंग में सब कुर्सी पर बैठे रहे, पंचायत अध्यक्ष ने दलित महिला को फर्श पर बैठाया

दरअसल कुड्डोलर में पंचायत अध्यक्ष के बैठक का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हुआ था. वीडियो में साफ तौर पर नजर आ रहा है कि बैठक के दौरान एक पिछड़ी जाति के शख्स (दलित) को पंचायत अध्यक्ष ने नीचे फर्श पर बैठा दिया जबकि बाकी लोग कुर्सियों पर बैठे हुए थे.

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दलित महिला को फर्श पर बैठाया दलित महिला को फर्श पर बैठाया

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 10 अक्टूबर 2020,
  • अपडेटेड 2:03 PM IST
  • पंचायत अध्यक्ष ने दलित को मीटिंग के दौरान फर्श पर बैठाया
  • पुलिस ने CPM की शिकायत पर SC/ST एक्ट के तहत दर्ज किया केस

तमिलनाडु के कुड्डलोर में एक बैठक के दौरान पंचायत अध्यक्ष को एक दलित महिला को फर्श पर बैठाना भारी पड़ गया है. उसके खिलाफ पुलिस ने SC/ST एक्ट के तहत मामला दर्ज किया है.

दरअसल कुड्डोलर में पंचायत अध्यक्ष के बैठक का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हुआ था. वीडियो में साफ तौर पर नजर आ रहा है कि बैठक के दौरान एक पिछड़ी जाति की महिला (दलित) को पंचायत अध्यक्ष ने नीचे फर्श पर बैठा दिया जबकि बाकी लोग कुर्सियों पर बैठे हुए थे.

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इस बैठक का वीडियो आसपास के इलाकों में वायरल हो गया जिसके बाद सीपीएम पार्टी ने पंचायत अध्यक्ष के खिलाफ थाने में शिकायत दर्ज करवा दी. सीपीएम की शिकायत के बाद पुलिस अब इस मामले में FIR दर्ज कर मामले की जांच में जुट गई है.

क्या है SC/ST एक्ट

बता दें कि 20 मार्च 2018 को अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम, 1989 के हो रहे दुरुपयोग के मद्देनजर सुप्रीम कोर्ट ने इस अधिनियम के तहत मिलने वाली शिकायत पर स्वत: एफआईआर और गिरफ्तारी पर रोक लगा दी थी.

इसके बाद संसद में सुप्रीम कोर्ट के आदेश को पलटने के लिए कानून में संशोधन किया गया था. इसे भी सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई थी. अब पहले के मुताबिक ही एफआईआर दर्ज करने से पहले वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों या नियुक्ति प्राधिकरण से अनुमति जरूरी नहीं होगी.

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बता दें कि एससी/एसटी एक्ट के मामलों में अग्रिम जमानत का प्रावधान नहीं है. न्यायालय असाधारण परिस्थितियों में एफआईआर को रद्द कर सकते हैं.

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