केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ सड़कों पर उतरे किसानों का वामपंथी दलों ने समर्थन किया है. वामपंथी दलों से केंद्र सरकार से कहा है कि वो किसानों की मांग पूरी करे. वामदलों ने सोमवार शाम जारी बयान में देशभर में सक्रिय संगठनों से कहा कि वो एकजुट हों और स्थानीय स्तर पर किसानों के समर्थन में उतरें.
वामपंथी पार्टियों ने जारी किसान आंदोलन को समर्थन देने का ऐलान किया है. माकपा महासचिव सीताराम येचुरी ने जारी बयान में लेफ्ट संगठनों को एकजुट होने और किसान आंदोलन को सपोर्ट करने का आह्वान किया. सीताराम येचुरी ने कहा कि वामपंथी दल देशभर में सक्रिय अपने संगठनों को एकजुट करें और किसान आंदोलन को समर्थन दें. उन्होंने इसके लिए किसान संगठन, कृषि मजदूर संगठनों और ट्रेड यूनियन का आह्वान किया.
वामपंथी दलों ने मांग की है कि प्रधानमंत्री और केंद्र सरकार को आंदोलित किसानों की मांग पर अमल करना चाहिए ताकि भारतीय कृषि व्यवस्था को बचाया जा सके, खाद्य सुरक्षा को सुनिश्चित किया जा सके. साथ ही उन्हें उचित पारिश्रमिक मिल सके.
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बता दें कि कृषि कानूनों का विरोध कर रहे किसान सोमवार को दिल्ली बॉर्डर पर लगातार पांचवें दिन भी जमे रहे. दिल्ली में दाखिल होने के तीन रास्तों पर सैकड़ों किसान डेरा डाले हुए हैं. किसान दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना देने के लिए अड़े हुए हैं. केंद्र सरकार ने जिस बुराड़ी मैदान को किसानों के लिए आरक्षित किया था, वह इन किसानों को जेल जैसा लगने लगा है. इस बीच, जो किसान बुराड़ी मैदान पहुंचे थे वो वापस लौट रहे हैं.
आशुतोष मिश्रा