5 गांव के किसानों का कर्ज चुकाने के लिए समाजसेवक बेच रहा है अपने खेत

महाराष्ट्र के उस्मानाबाद जिले के कवठा गांव के विनायक राव पाटिल इन्होंने समाजसेवी अन्ना हजारे के साथ कई आंदोलन में भाग लिया. इन्होंने उस्मानाबाद और लातूर जिले में सूखे के समय 5 करोड़ लीटर की वाटर बैंक तैयार कर उस्मानाबाद और लातूर जिले के लोगों की प्यास बुझाई है.

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अपने खेत में काम करता किसान अपने खेत में काम करता किसान

पंकज खेळकर

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  • 14 अप्रैल 2017,
  • अपडेटेड 10:05 PM IST

सत्ताधारी पक्ष और विपक्ष भी किसानों के कर्जमाफी की मांग कर तो रहे हैं पर कोई ठोस कदम नहीं उठा रहे हैं, इसी बात को देखते हुए उस्मानाबाद के एक समाजसेवक ने खुद की 10 एकड़ जमीन बेचकर उस्मानाबाद और यवतमाल जिले के 5 गांव के किसानों को कर्ज से मुक्त करने का मन बनाया है.

महाराष्ट्र के उस्मानाबाद जिले के कवठा गांव के विनायक राव पाटिल इन्होंने समाजसेवी अन्ना हजारे के साथ कई आंदोलन में भाग लिया. इन्होंने उस्मानाबाद और लातूर जिले में सूखे के समय 5 करोड़ लीटर की वाटर बैंक तैयार कर उस्मानाबाद और लातूर जिले के लोगों की प्यास बुझाई है. विनायक राव पाटिल ने मराठा और मुस्लिम समाज को आरक्षण मिलने के लिए आंदोलन भी किया था.

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कर्जमाफी का मुद्दा कई वर्षों से चल रहा है, ऐसे में उस्मानाबाद के समाजसेवक विनायकराव ने उस्मानाबाद जिले के कवठा, एकोडी, बोरी, नागरवाड़ी और मोताला इन 5 गांव के किसानों को कर्ज से मुक्ति दिलाने का निर्णय लिया है.

विनायक राव पाटिल खुद की 10 एकड़ जमीन बेचने के लिए निकले हैं और उन्हें अपने जमीन की कीमत 2 करोड़ रूपये मिलने की आशा है, जिससे वो किसानों को कर्ज से मुक्ति दिलाएंगे. विनायक राव पाटिल ने तारीफ के काबिल और इंसानियत को बढ़ावा देने वाली शुरूआत तो की है लेकिन इस नेक शुरूआत का अनुकरण राजनीतिक लोगों ने भी किया तो किसानों को कर्ज से मुक्ति मिलने में देर नहीं लगेगी.

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