पूर्व केंद्रीय मंत्री उमा भारती ने अपनी चिट्ठी में लिखा, ‘भीड़ के द्वारा साधुओं की हत्या करना एक महापाप है, आप (उद्धव ठाकरे) के राज्य में ये जघन्य कृत्य हुआ है, इसलिए आपको इन्हें सजा देनी ही होगी. जिन पुलिसकर्मियों से साधु मदद की गुहार लगा रहे थे, उन्होंने ही उन्हें भीड़ के हवाले कर दिया.’
उमा भारती ने मांग करते हुए लिखा कि पुलिसकर्मियों पर भी धारा 302 के तहत केस दर्ज होना चाहिए. आपने अगर कठोर दंड नहीं दिया तो आप भी पाप के भागीदार होंगे. मैं आज प्रायश्चित के लिए उपवास रख रही हूं और साधुओं से भी एक दिन की उपवास की अपील की है. उमा भारती ने कहा कि जब लॉकडाउन खत्म होगा, तो वह उस स्थान पर जाएंगी.
गौरतलब है कि महाराष्ट्र के पालघर के एक गांव में 16 अप्रैल की रात को दो साधुओं और उनके ड्राइवर की भीड़ ने पीट-पीटकर हत्या कर दी. गांव वालों ने चोरी के शक में इनपर हमला किया, इस दौरान वहां पर खड़े कुछ पुलिसकर्मी कुछ नहीं कर पाए और तमाशा देखते रहे. महाराष्ट्र पुलिस ने इस मामले में 100 से अधिक लोगों को हिरासत में लिया है, जबकि कई केस भी दर्ज किए गए हैं.
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने सोमवार को प्रेस वार्ता में कहा था कि वह किसी भी दोषी को नहीं छोड़ेंगे. लेकिन लोग इसे हिंदू-मुस्लिम के रंग से ना देखें, जो भी इस मसले को भड़काने की कोशिश करेगा, उसपर एक्शन लिया जाएगा.
अशोक सिंघल