ऐसे दिन जब जम्मू-कश्मीर की पुलिस ने दावा किया है कि उनके राज्य का एक जिला आतंकवाद मुक्त हो गया है, जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक का बयान चर्चा का विषय बन गया है. सत्यपाल मलिक का कहना है कि अगर कोई भी आतंकी मारा जाता है तो उन्हें दुख होता है, इससे सिर्फ पुलिस के हिसाब से उपलब्धि बढ़ी है. बता दें कि इससे पहले भी सत्यपाल मलिक के कई बयान और फैसले चर्चा का विषय बन चुके हैं.
गुरुवार को जम्मू-कश्मीर के गवर्नर ने कहा,’’ पुलिस अपना काम बहुत अच्छे से कर रही है, लेकिन अगर एक भी जान जाती है अगर वो आतंकी की भी क्यों ना हो तो मुझे तकलीफ होती है. हम चाहते हैं कि हर कोई वापस आए.’’
सत्यपाल मलिक ने कहा कि हम कोशिश कर रहे हैं कि बच्चे वापस आएं, मारना कोई इलाज नहीं है. उन्होंने कहा कि आतंकवाद बंदूक में नहीं दिमाग में होता है, पुलिस के हिसाब से उपलब्धि जरूर बढ़ी है. हालांकि, उन्होंने सुरक्षाबलों की तारीफ भी की. उन्होंने कहा कि पुलिस ने पिछले कुछ महीनों में सुरक्षाबलों ने काफी बढ़िया काम किया है.
आपको बता दें कि गुरुवार को ही जम्मू-कश्मीर डीजीपी दिलबाग सिंह ने दावा किया कि बारामूला जिला आतंकवाद मुक्त हो गया है. उन्होंने कहा कि जम्मू-कशअमीर में अब कोई सक्रिय आतंकी नहीं है. आतंकवाद मुक्त होने वाला बारामूला जम्मू-कश्मीर का पहला जिला बना है.
इससे पहले भी सत्यपाल मलिक का राज्य की विधानसभा को भंग करने का फैसला काफी चर्चा में रहा था. पीडीपी और नेशनल कॉन्फ्रेंस ने दावा किया था कि उन्होंने गवर्नर को फैक्स किया था लेकिन वह नहीं पहुंच पाया था. सत्यपाल मलिक ने इस दावे को खारिज किया था.
पिछले साल जब चर्चा थी कि पीडीपी, नेशनल कॉन्फ्रेंस और कांग्रेस जम्मू-कश्मीर में सरकार बनाने का दावा पेश कर सकते हैं उससे कुछ समय पहले ही सत्यपाल मलिक ने विधानसभा को भंग कर दिया था. बता दें कि जम्मू-कश्मीर में इस समय राष्ट्रपति शासन लागू है.
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