जाट नेताओं का ऐलान- सरकार से वार्ता विफल हुई तो फिर शुरू होगा आंदोलन, सुरक्षा कड़ी

जाट आंदोलन भड़कने से पहले ही हरियाणा में सतर्कता बढ़ा दी गई है. सरकार ने जाट नेताओं को शुक्रवार को बातचीत के लिए बुलाया है. साथ ही चालू बजट सत्र में आरक्षण पर विधेयक पारित करवाने का वादा भी किया है.

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जाट आंदोलन ने रोक दी थी हरियाणा की रफ्तार जाट आंदोलन ने रोक दी थी हरियाणा की रफ्तार

प्रियंका झा

  • नई दिल्ली,
  • 18 मार्च 2016,
  • अपडेटेड 3:13 PM IST

गुरुवार को जाट आरक्षण पर अल्टीमेटम खत्म होने के बाद हरियाणा की खट्टर सरकार शुक्रवार को जाट नेताओं को बातचीत के लिए बुलाया है. वहीं दूसरी तरफ जाट नेताओं ने ऐलान किया है कि अगर वार्ता फेल हो जाती है तो आंदोलन फिर शुरू हो जाएगा. इसके मद्देनजर रोहतक में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है.

जाट आंदोलन भड़कने से पहले ही हरियाणा में सतर्कता बढ़ा दी गई है. साथ ही चालू बजट सत्र में आरक्षण पर विधेयक पारित करवाने का वादा भी किया है.

 जाट नेताओं ने सरकार को उनकी मांगों पर ध्यान देने के लिए 72 घंटे की मोहलत दी थी. यह डेडलाइन गुरुवार को ही खत्म हो चुकी है. जाट नेताओं ने कहा कि वे शुक्रवार को हरियाणा के मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक के साथ बैठक कर के भविष्य की कार्रवाई पर फैसला करेंगे.

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अर्धसैनिक बलों और पुलिस को तैनात कर दिया
आंदोलन की आशंकाओं के बीच राज्य सरकार ने संवेदनशील जिलों में अर्धसैनिक बलों और पुलिस को तैनात कर दिया. पिछले महीने जाट आंदोलन के दौरान भड़की हिंसा ने राज्य की रफ्तार को रोक दिया था और 30 लोग मारे गए थे. केंद्र सरकार ने अर्धसैनिक बलों के 800 जवानों को राज्य में भेजा है जिन्हें रोहतक और झज्जर जिलों जैसे संवेदनशील इलाकों में तैनात किया जा रहा है. पिछले महीने आंदोलन में ये जिले सबसे बुरी तरह प्रभावित हुए थे.

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