केंद्र सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ देशभर के किसान आंदोलन कर रहे हैं. खासकर राजधानी दिल्ली में पंजाब, हरियाणा और यूपी के किसान डटे हुए हैं. आज कई दिन बाद सरकार और किसानों के बीच बातचीत का रास्ता भी खुला है. इस बीच हरियाणा में किसान आंदोलन का प्रभाव भारतीय जनता पार्टी की खट्टर सरकार पर भी पड़ता दिखाई दे रहा है.
हरियाणा के जींद में 40 खाप पंचायतों की एक महापंचायत हुई है. इस महापंचायत में अहम फैसले लिए गए हैं. ये भी फैसला लिया गया है कि हरियाणा सरकार को गिराने के लिए मुहिम शुरू की जाएगी.
गौरतलब है कि हरियाणा में बीजेपी की सरकार जेजेपी और निर्दलीय विधायकों के समर्थन से चल रही है. एक निर्दलीय विधायक ने पहले ही मनोहर लाल खट्टर सरकार से समर्थन वापस ले लिया है. अब खाप नेताओं ने ऐलान किया है कि जिन विधायकों ने सरकार को समर्थन दिया हुआ है उन पर समर्थन वापस लेने के लिए दबाव बनाया जाएगा.
महापंचायत में ये भी तय किया गया कि सभी खाप पंचायत पहले शांति के साथ विधायकों से अपील करेगी और अगर वो नहीं माने तो गांवों में उनकी एंट्री बैन की जाएगी.
इसके अलावा खाप पंचायत की बैठक में किसानों के समर्थन की बात भी कही गई है. साथ ही कहा गया है कि आंदोलन की अगुवाई पंजाब के किसान ही करेंगे.
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जींद की इस बैठक में बिनैन खाप, हिसार की सतरोल खाप, चहल खाप, सोनीपत की दहिया खाप, दाडन खाप, माजरा खाप, कंडेला खाप, पंघाल खाप, सहारण खाप, नांदल खाप, ढुल खाप, पंचग्रामी खाप, चौगामा खाप, किनाना 12 खाप, नोगामा खाप, जाट महासभा और अन्य कई खाप शामिल हुईं.
विजेंद्र कुमार