दिल्ली हिंसा: उमर खालिद को बड़ा झटका, हाईकोर्ट ने खारिज की जमानत याचिका

दिल्ली दंगों से जुड़े मामले में आरोपी और जेएनयू के पूर्व छात्र उमर खालिद को बड़ा झटका लगा है. दिल्ली हाईकोर्ट ने मंगलवार को उमर खालिद की जमानत याचिका को खारिज कर दिया. दिल्ली पुलिस ने उमर खालिद की जमानत याचिका का कोर्ट में विरोध किया था.

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उमर खालिद की जमानत याचिका खारिज (फाइल फोटो) उमर खालिद की जमानत याचिका खारिज (फाइल फोटो)

कनु सारदा / संजय शर्मा

  • नई दिल्ली,
  • 18 अक्टूबर 2022,
  • अपडेटेड 3:39 PM IST

जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी (जेएनयू) के पूर्व छात्र नेता उमर खालिद को दिल्ली हाईकोर्ट से बड़ा झटका लगा है. दिल्ली हाईकोर्ट ने मंगलवार को उमर खालिद की ओर से दाखिल जमानत याचिका खारिज कर दी. दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली दंगों से जुड़े मामले में उमर खालिद की ओर से दायर जमानत याचिका खारिज कर दी है.

दिल्ली हाईकोर्ट के जस्टिस सिद्धार्थ मृदुल और जस्टिस रजनीश भटनागर की बेंच ने उमर खालिद की जमानत याचिका पर सुनवाई के बाद 9 सितंबर को फैसला सुरक्षित रख लिया था. दिल्ली हाईकोर्ट की जस्टिस सिद्धार्थ मृदुल और जस्टिस रजनीश भटनागर की बेंच ने मंगलवार को अपना फैसला सुना दिया. दिल्ली हाईकोर्ट ने उमर खालिद की ओर से दायर जमानत याचिका खारिज कर दी. 

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निचली कोर्ट के आदेश में दखल देने की जरूरत नहीं

दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा कि UAPA कानून के तहत लगी रोक का प्रावधान लागू होगा. दिल्ली हाई कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि खालिद के खिलाफ लगे आरोप प्रथम दृष्टि में सही हैं. 24 मार्च के निचली अदालत के आदेश में दखल देने की फिलहाल कोई आवश्यकता नहीं है. हाई कोर्ट ने कहा कि खालिद का नाम साजिश की शुरुआत से लेकर दंगों तक आया है. वह JNU के मुस्लिम छात्रों का सदस्य रहा है. उसने जंतर मंतर, जंगपुरा, सीलमपुर आदि मीटिंग में हिस्सा लिया था.

दावा: सीएए जैसे मुद्दे ही खालिद ने उठाए थे

जेल में बंद उमर खालिद ने सेशन कोर्ट से जमानत याचिका खारिज होने के बाद दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी. उमर खालिद ने जमानत याचिका पर सुनवाई के दौरान ये दलील दी कि इस हिंसा में न तो उसकी कोई आपराधिक भूमिका है और ना ही किसी भी आरोपी के साथ कोई आपराधिक संबंध हैं. उमर खालिद की ओर से पैरवी करते हुए वरिष्ठ अधिवक्ता त्रिदीप पायस ने ये दलील दी थी कि उनके मुवक्किल ने सीएए समेत वही मुद्दे उठाए थे जिन्हें लेकर पूरे देश में चर्चा चल रही थी. इसमें कुछ भी गैरकानूनी नहीं है.

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दिल्ली पुलिस ने उमर खालिद की जमानत का विरोध किया. दिल्ली पुलिस की ओर से विशेष सरकारी वकील अमित प्रसाद ने उमर खालिद की ओर से दायर जमानत याचिका का विरोध किया था. हाईकोर्ट में सुनवाई के दौरान दिल्ली पुलिस के वकील ने ये दलील भी दी थी कि निचली अदालत ने सभी तथ्यों की जांच के बाद ही उमर खालिद को जमानत देने से इनकार कर दिया था.

2020 में खालिद को किया गया था अरेस्ट

साल 2020 के फरवरी महीने में नॉर्थ ईस्ट दिल्ली में हुए दंगों को लेकर दिल्ली पुलिस ने उमर खालिद को सितंबर 2020 में गिरफ्तार किया था. शरजिल इमाम और कुछ अन्य लोगों के साथ ही दिल्ली पुलिस ने उमर खालिद को मुख्य आरोपी बताते हुए यूएपीए और आईपीसी की अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया था.

 

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