नागरिकता संशोधन विधेयक, लोकसभा के बाद अब राज्यसभा से भी पास हो गया है. इस बिल को लेकर रोहिंग्या शरणार्थियों के 67 परिवारों ने एक सुर में नागरिकता संसोधन बिल का स्वागत किया लेकिन खुद को उसमें शामिल करने की सरकार से गुहार भी लगाई है.
बिल से चिंतित रोहिंग्या शरणार्थी
रोहिंग्या शरणार्थियों का कहना है हम दिल्ली, नोएडा और आसपास के इलाकों में घरेलू काम करते हैं. सरकार अगर नागरिकता संशोधन बिल में उनको भी शामिल करती तो बहुत अच्छा होता. जो नागरिकता संशोधन बिल आया है उससे हम बहुत चिंतित हैं.
आगे उनका कहना है, 'हम 12 साल से यहां पर रह रहे हैं. सरकार की तरफ उम्मीद भरी नजर से देखते हैं कि हमारा भी मसला हल करें. देखा जाए तो कोई अपना मुल्क छोड़कर नहीं आना चाहता. लेकिन बर्मा में हमारे साथ बहुत जुल्म हुआ.
इंसानियत के खिलाफ ये बिल
उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि जैसे ही पता लगा अमित शाह ने बिल पास कराया है तो दुख हुआ क्योंकि नागरिकता संशोधन बिल इंसानियत के तौर पर पास नहीं करवाया गया है. जिन लोगों को शामिल किया गया वह भी रिफ्यूजी हैं, हम भी रिफ्यूजी हैं, हम म्यानमार से आए हैं जो बिल पास हुआ उससे मैं खुश हूं. यह हक हमें भी मिलना चाहिए हम भी परेशानी का सामना करके यहां पर आए हैं.
रोहिंग्या शरणार्थी मोहम्मद शरीफ कहते हैं, 'उसके देश में उतना जुल्म नहीं हुआ जितना हमारे देश में जुल्म हुआ है. मां और बहनों का रेप हुआ उसके बाद गड्ढे में डालकर पेट्रोल से आग लगा दी गई थी. हम यहां 2011 में आए थे और शटरिंग का काम करते हैं.'
राम किंकर सिंह