नीतीश कुमार ने बताया- लोग उन्हें क्यों कहने लगे थे क्विंटलिया बाबा

नीतीश ने बताया कि बिहार में हर साल बाढ़ आती है, जब 2007 में बाढ़ आई तो करीब 22-23 जिले इससे प्रभावित हुए. नीतीश कुमार ने बताया कि हमारी सरकार ने बाढ़ पीड़ितों के बीच जाकर काम किया. प्रभावितों को एक-एक क्विंटल अनाज बांटा गया.

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बिहार के सीएम नीतीश कुमार बिहार के सीएम नीतीश कुमार

aajtak.in

  • पटना,
  • 07 सितंबर 2020,
  • अपडेटेड 2:08 PM IST
  • बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने की वर्चुअल रैली
  • नीतीश ने बाढ़ प्रभावितों को मदद की दी जानकारी
  • सीएम नीतीश ने 2007 का किस्सा याद किया

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सोमवार को बिहार में चुनावी शंखनाद किया. वर्चुअल रैली के दौरान नीतीश कुमार ने अपने 15 साल के कार्यकाल में किए गए कामों की चर्चा तो की ही, साथ ही ये भी बताया कि पहले क्या हालात थे. नीतीश ने कहा कि आज जो नौजवान हैं उन्हें नहीं पता पहले अपराध कितने चरम पर था, गड्ढों में सड़क होती थीं और हमारी सरकार ने तस्वीर बदल दी है. 

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अपने भाषण के दौरान नीतीश कुमार ने एक पुराने वाकये का भी जिक्र किया. नीतीश ने बताया कि बिहार में हर साल बाढ़ आती है, जब 2007 में बाढ़ आई तो करीब 22-23 जिले इससे प्रभावित हुए. नीतीश कुमार ने बताया कि हमारी सरकार ने बाढ़ पीड़ितों के बीच जाकर काम किया. प्रभावितों को एक-एक क्विंटल अनाज बांटा गया.

नीतीश ने बताया, ''अनाज बांटने के कार्यक्रम के दौरान जब हम दरभंगा गए तो हम सुने कि लोग हमको क्विंटलिया बाबा बोल रहे थे. ये इसलिए था क्योंकि हमने काम किया, पहले कुछ नहीं होता था.'' 

इस पुराने किस्से के साथ ही नीतीश कुमार ने मौजूदा बाढ़ का भी जिक्र किया. नीतीश कुमार ने बताया कि 83 लाख से ज्यादा लोग बाढ़ से प्रभावित हुए. इसके लिए हमने काफी काम किया. सामुदायिक किचन से पूरे राज्य में 10 लाख लोगों को खाना खिलाया. साथ ही कोरोना की जांच भी करवायी. 

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नीतीश कुमार ने कहा कि बाढ़ की वजह से 16 से भी ज्यादा जिले प्रभावित हुए हैं. हम air dropping के माध्यम से लोगों को राशन पहुंचा रहे हैं. जरा याद कीजिये कि आपदा के वक़्त पहले क्या करते थे.

शिक्षा और अपराध पर भी बोले नीतीश

इसके अलावा शिक्षा पर नीतीश कुमार ने कहा, ''बिहार शिक्षा का मूल प्रदेश है. हम लोग इस पर और भी काम कर रहे हैं. हमने जिला स्तर पर एजुकेशन को बेहतर बनाया. शिक्षकों के लिए वेतन में 15 प्रतिशत की वेतन वृद्धि, विद्यार्थियों के लिए स्टूडेंट क्रेडिट योजना सहित शिक्षा को और बेहतर करने की योजनाएं हैं.''

वहीं कानून व्यवस्था पर उन्होंने कहा कि 15 साल पहले नरसंहार होता था, अब कानून का राज है. शाम होने से पहले लोग घर से नहीं निकलते थे, अब देखिए. गंभीर अपराध के मामले में बिहार का स्थान 23वें नम्बर पर है, कभी बिहार पहले नम्बर पर हुआ करता था, ये उपलब्धि है.

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