इस राज्य में 10वीं-12वीं बोर्ड परीक्षा में कोई टॉपर घोष‍ित न होने से ये होगा नुकसान

JAC Result 2021: इसकी वजह यह है कि मैट्रिक और इंटरमीडिएट की परीक्षा इस बार नहीं ली गई है, ऐसे में छात्र-छात्राएं पिछली कक्षा के अंक के आधार पर प्रमोट किए जा रहे हैं, ऐसे में टॉपर लिस्ट जारी करना सही नहीं होगा.

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प्रतीकात्मक फोटो (Getty) प्रतीकात्मक फोटो (Getty)

सत्यजीत कुमार

  • नई द‍िल्ली ,
  • 19 जुलाई 2021,
  • अपडेटेड 2:42 PM IST

JAC Result 2021: झारखंड़ में इस बार सभी 7 लाख परिक्षर्थियों को सरकार ने प्रमोट करने का फैसला लिया था. नई व्यवस्था के अनुसार झारखंड बोर्ड मैट्रिक और इंटरमीडिएट 2021 के रिजल्ट में इस बार कोई भी विद्यार्थी टॉपर नहीं होगा. न तो झारखंड एकेडमिक काउंसिल की ओर से टॉपरों की सूची जारी की जाएगी और न ही दूसरे माध्यम से टॉपर निकाले जाएंगे. 

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JAC की ओर से स्पष्ट कहा गया है कि इस बार टॉपरों की सूची जारी नहीं होगी. इसकी वजह यह है कि मैट्रिक और इंटरमीडिएट की परीक्षा इस बार नहीं ली गई है, ऐसे में छात्र-छात्राएं पिछली कक्षा के अंक के आधार पर प्रमोट किए जा रहे हैं, ऐसे में टॉपर लिस्ट जारी करना सही नहीं होगा. मैट्रिक और इंटरमीडिएट के तीनों संकायों का रिजल्ट तो जारी करेगा, लेकिन वह कुछ खास तरह की ही सूचनाएं देगा. मसलन सिर्फ कितने परीक्षार्थी शामिल हुए, कितने उत्तीर्ण हुए, कितने फेल, कितनों का रिजल्ट फर्स्ट, सेकेंड और थर्ड डिवीजन आया. 

जैक की ओर से पूरे रिजल्ट की दी जाने वाली सीडी भी इस बार जारी नहीं हो सकेगी. इसके माध्यम से जिन छात्र-छात्राओं को सबसे ज्यादा अंक आते थे, उन्हें औपचारिक रूप से टॉपर माना जाता था. इसी आधार पर राज्य और जिला का टॉप-10 भी तैयार किया जाता था. रिजल्ट निकलने के बाद आवश्यकता पड़ने पर छात्र-छात्राएं स्क्रूटनी भी कराते थे. इस कारण इसमें कभी-कभी बदलाव भी होता था. इसके बाद जैक टॉपर लिस्ट जारी करता था, लेकिन इस बार ऐसी प्रक्रिया अपनाने से जैक इनकार कर रहा है. 

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टॉपर न आने से ये होगा नुकसान 

मैट्रिक और इंटरमीडिएट का टॉपर लिस्ट नहीं जारी होने की वजह से 2021 में मुख्यमंत्री प्रोत्साहन राशि पुरस्कार से छात्र-छात्राओं को वंचित रहना पड़ सकता है. राज्य सरकार ने 2020 से ही इसकी शुरुआत की थी इसमें मैट्रिक के पहले टॉपर को एक लाख, दूसरे टॉपर को 75 हजार और तीसरे टॉपर को 50 हजार की राशि दी गई थी. वहीं, इंटरमीडिएट के तीनों संकायों में अलग-अलग फर्स्ट, सेकेंड और थर्ड टॉपर्स को तीन लाख, दो लाख और एक लाख की राशि दी गई थी. यह सिर्फ झारखंड बोर्ड के छात्र-छात्राओं के लिए ही नहीं, cbsc और आईसीएसई बोर्ड के वैसे छात्र-छात्राएं, जो झारखंड में स्टेट टॉपर थे, उन्हें भी राशि देकर सम्मानित किया गया था. 

अब इस बार बोर्ड द्वारा टॉपर की लिस्ट नहीं जारी करने की स्थिति में छात्र-छात्राओं को प्रोत्साहन राशि नहीं मिल सकेगी. झारखंड एकेडमिक काउंसिल के मैट्रिक और इंटरमीडिएट की पिछली परीक्षा के ओवरऑल स्टेट टॉपर को शिक्षा मंत्री जगन्नाथ महतो ने अपनी ओर से ऑल्टो कार भेंट की थी. वहीं, बोकारो जिले के मैट्रिक-इंटर टॉपर को मोटरसाइकिल और उनके डुमरी विधानसभा क्षेत्र के 75 प्रतिशत से अधिक अंक लाने वाले छात्र-छात्राओं को साइकिल दी थी. 2020 में रिजल्ट जारी करने के दौरान उन्होंने घोषणा की थी और सितंबर में इसका वितरण किया था. 

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झारखंड़ में इस बार मैट्रिक और इंटर में न तो टॉपर्स होंगे और न ही मुख्यमंत्री जो प्रथम तीन  टॉपर्स को प्रोत्साहन राशि देते हैं वो ही बंट पाएगा. इस अकादमिक सेशन में न तो क्लास हुए और न ही परीक्षा का आयोजन किया जाएगा.  लिहाज़ा सरकार ने ये फैसला किया था कि 12वी के परीक्षा परिणाम 11वी के आधार पे और 10वी के परीक्षा परिणाम का आधार 9 वी के रिजल्ट पे निर्भर करेगा.  लगभग 7 लाख परिक्षर्थियों को प्रमोट करने का फैसला सरकार पहले ही ले चुकी है. इस मुद्दे पे सेकेंडरी एजुकेशन डिरेक्टर हर्ष मंगला ने पहले ही आजतक से एक्सक्लूसिव बातचीत में कहा था कि पारदर्शी तरीके से इम्तेहान का रिजल्ट निकाला जाएगा.

 

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