राजस्थान: फर्जी IAS लोगों को दिलवाता था VIP सुविधाएं, पुलिस तलाश में जुटी

राजस्थान में एक ऐसा मामला सामने आया है जिसके बारे में जानकर आप हैरान रह जाएंगे. अजमेर में आलीशान सर्किट हाउस में फर्जी आईएएस बनकर लोगों को वीआईपी सुविधाएं दिलवाने और ठगी की वारदात मामले में कोतवाली थाना पुलिस ने एस के शर्मा के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है.

Advertisement
प्रतीकात्मक फोटो प्रतीकात्मक फोटो

शरत कुमार

  • जयपुर,
  • 15 सितंबर 2019,
  • अपडेटेड 1:58 AM IST

  • सर्किट हाउस से चेकआउट के दौरान पोल खुल गई
  • फर्जी IAS ने 3 लड़कों को सर्किट हाउस भिजवाया
  • तीनों को धारा 151 के तहत गिरफ्तार कर लिया गया

राजस्थान में एक ऐसा मामला सामने आया है जिसके बारे में जानकर आप हैरान रह जाएंगे. अजमेर में आलीशान सर्किट हाउस में फर्जी आईएएस बनकर लोगों को वीआईपी सुविधाएं दिलवाने और ठगी की वारदात मामले में कोतवाली थाना पुलिस ने एस के शर्मा नाम के शख्स के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है. मामले की जानकारी देते हुए थाना प्रभारी छोटी लाल ने बताया कि 9 सितंबर को फर्जी आईएसएस के शर्मा ने क्लॉक टावर थाना पुलिस को फोन कर 3 लड़कों को सर्किट हाउस भिजवाने की व्यवस्था करने के निर्देश दिए थे. जहां पहले से ही तीनों के कमरे आईएएस के नाम से बुक किए गए थे.

Advertisement

पुलिस ने फर्जी आईएएस के निर्देश पर तीनों को सर्किट हाउस छोड़ दिया लेकिन चेकआउट के दौरान पोल खुल गई. चेकआउट के दौरान तीनों लड़कों का कर्मचारियों से विवाद हो गया. इस दौरान सर्किट हाउस के मैनेजर अखिलेश शंकर तिवारी ने एस के शर्मा नाम की कोई आईएएस की सूचना नहीं होने की जानकारी दी. कोतवाली थाना पुलिस ने 10 सितंबर को सर्किट हाउस अधिकारी तिवारी की शिकायत पर रामखिलाड़ी, रामबाबू और प्रेम सिंह नाम के तीन लड़कों को धारा 151 के तहत गिरफ्तार कर लिया गया.

पूछताछ में तीनों ने बताया कि उन्हें कथित आईएएस अधिकारी ने सरकारी नौकरी दिलाने का झांसा देकर अजमेर बुलाया था और उन्हें क्लाकटावर थाने पहुंचने के लिए कहा था.  छोटी लाल, थाना प्रभारी कोतवाली ने बताया कि 9 सितंबर को सर्किट हाउस अजमेर में एक एस के शर्मा नाम के अधिकारी के नाम से फोन करके कमरे बुक करवाए गए थे. तीन युवकों को उनके नाम से ठहराया गया था.  जब चेकआउट किया तो पेमेंट को लेकर विवाद हुआ जिसके बाद सर्किट हाउस के अधिकारियो ने थाने में शिकयक्त दी.

Advertisement

जांच में पता चला की जिस नाम से कमरा बुक हुआ था उस नाम का कोई अधिकारी ही नहीं है. सर्किट हाउस में रुकने वाले तीनों युवक भरतपुर जिले के रहने वाले हैं. वहीं पुलिस फर्जी आईएएस की तलाश में जुट गई है और मामले की जांच कर रही है.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement