कोरोना वायरस की महामारी का असर दुनिया के हर देश पर दिख रहा है. सब कुछ ठप है. ऐसे में आर्थिक समस्याएं भी तेजी से बढ़ रही हैं. इस बीच विश्व स्वास्थ्य संगठन की ओर से कहा गया है कि ऐसे संकट के समय में विकासशील देशों की आर्थिक मदद की जानी चाहिए. ये चिंता तब जाहिर की गई है जब देश में कोरोना वायरस के मामलों की संख्या लगातार बढ़ रही है.
WHO के डायरेक्टर जनरल टेड्रोस अधानम ने कहा कि WHO, वर्ल्ड बैंक और इंटरनेशनल मॉनिटरी फंड विकासशील देशों को आर्थिक मदद पहुंचाने पर विचार कर रहे हैं. क्योंकि महामारी के इस दौर का सबसे अधिक असर इन्हीं देशों पर पड़ रहा है.
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जेनेवा मुख्यालय में उन्होंने कहा कि पिछले पांच हफ्तों में कोरोना वायरस के मामलों में बेहद तेजी देखी गई है, जो कि चिंताजनक है. दुनियाभर में ये मामले लगभग दोगुने हो गए हैं. WHO के मुताबिक, अगले एक-दो दिन में दुनिया में कोरोना वायरस के पीड़ितों का आंकड़ा दस लाख पार कर लेगा, जबकि 50 हजार के करीब लोग अपनी जान गंवा चुके होंगे.
चीन की मौजूदा स्थिति पर WHO की ओर से कहा गया कि वहां पर पहले के मुकाबले अब काफी सुधार है और हालात सामान्य की ओर जा रहे हैं. डॉ. मारिया वेर के मुताबिक, जो लोग दुनिया में कोरोना पीड़ित पाए जाते हैं उनमें से 75 फीसदी में संक्रमण की बढ़ोतरी होती हुई दिख रही है.
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गौरतलब है कि कोरोना वायरस के मामले दुनिया में तेजी से बढ़ रहे हैं. इस दौरान दुनिया में नौ लाख से अधिक लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हैं, जबकि 40 हजार से अधिक अपनी जान गंवा चुके हैं. अमेरिका में कोरोना वायरस के सबसे ज्यादा एक्टिव केस हैं, जबकि इटली में मौत का आंकड़ा सर्वाधिक है.
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