विवाह पंचमी का हमारे यहाँ अत्यंत पवित्र और शुभ दिन माना जाता है. जैसे रामनवमी का विशेष महत्व है, वैसे ही विवाह पंचमी भी हमारे संस्कारों में गहराई से जुड़ा है. अवध की अयोध्या में इस दिन ध्वजारोहण होता है, जो नए विवाहिता, बहु और बेटियों को शुभकामनाएँ और आशीर्वाद देने का प्रतीक है. मान्यता है कि कौशल्या जी ने सीता जी को गंगा जमुना के जल की तरह पवित्र आशीर्वाद दिया था, जो उनके सौभाग्य और जीवन की खुशहाली का परिचायक है.