दिल्ली में नाइट शिफ्ट कर सकेंगी महिलाएं, इन शर्तों के साथ रेखा गुप्ता सरकार ने दी परमिशन

इस साल की शुरुआत में दिल्ली के राज्यपाल वी. के. सक्सेना ने महिलाओं को दुकानों और वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों में रात की शिफ्ट में काम पर लगाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी थी. दिल्ली सरकार के लेबर डिपार्टमेंट ने हाल ही में नोटिफिकेशन में महिलाओं को रोजगार देने और उनके रोजगार की शर्तों को लेकर दो नए प्रविष्टियां जोड़ी हैं.

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महिलाओं की नाइट शिफ्ट के लिए लिखित सहमति अनिवार्य होगी. (File Photo: PTI) महिलाओं की नाइट शिफ्ट के लिए लिखित सहमति अनिवार्य होगी. (File Photo: PTI)

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 23 अक्टूबर 2025,
  • अपडेटेड 7:26 PM IST

दिल्ली सरकार ने गुरुवार को एक नोटिफिकेशन जारी कर दुकानों और वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों में महिलाओं को रात की शिफ्ट में काम करने की अनुमति दे दी है. अधिकारियों के अनुसार, महिलाओं की रात की शिफ्ट में रखने के लिए उनकी लिखित सहमति अनिवार्य होगी.

नोटिफिकेशन में यह भी कहा गया है कि सभी कर्मचारियों को ओवरटाइम पर दोगुना वेतन मिलेगा और हफ्ते में अधिकतम 48 घंटे की ड्यूटी होगी, जो दिल्ली शॉप्स एंड एस्टेब्लिशमेंट एक्ट के तहत निर्धारित है. इसके अलावा, प्रत्येक प्रतिष्ठान में इंटरनल कंप्लेंट कमिटी (ICC) भी बनाई जाएगी.

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बता दें कि इस साल की शुरुआत में दिल्ली के राज्यपाल वी. के. सक्सेना ने महिलाओं को दुकानों और वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों में रात की शिफ्ट में काम पर लगाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी थी.

दिल्ली सरकार के लेबर डिपार्टमेंट ने हाल ही में नोटिफिकेशन में महिलाओं को रोजगार देने और उनके रोजगार की शर्तों को लेकर दो नए प्रविष्टियां जोड़ी हैं.

इसके अनुसार महिलाओं को रात की शिफ्ट में काम करने की अनुमति होगी, लेकिन उनकी लिखित सहमति अनिवार्य होगी. किसी भी कर्मचारी को किसी दिन नौ घंटे (भोजन और आराम सहित) से अधिक और सप्ताह में 48 घंटे से अधिक काम नहीं कराया जाएगा. नाइट शिफ्ट या ओवरटाइम के दौरान कर्मचारियों की सुरक्षा, सुरक्षा और परिवहन की उचित व्यवस्था करना नियोक्ताओं की जिम्मेदारी होगी.

इसके अलावा किसी भी कर्मचारी को लगातार पांच घंटे से अधिक काम नहीं करने दिया जाएगा.

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ओवरटाइम का वेतन, दिल्ली शॉप्स एंड एस्टेब्लिशमेंट एक्ट की धारा 8 के अनुसार, सामान्य दर के दोगुने के हिसाब से दिया जाएगा. शिफ्ट वर्किंग इस प्रकार होगी कि कोई कर्मचारी केवल रात की शिफ्ट में मजबूर न हो.

महत्वपूर्ण रूप से, सभी नियोक्ता महिलाओं को काम पर लगाते समय कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न (रोकथाम, निषेध और निवारण) अधिनियम, 2013 के तहत ICC बनाएंगे. इसके अलावा, सभी प्रतिष्ठानों में CCTV कैमरे लगाए जाएंगे और फुटेज कम से कम एक महीने तक सुरक्षित रखी जाएगी.

नोटिफिकेशन में राष्ट्रीय छुट्टियों पर काम करने के बदले मुआवजा अवकाश, साप्ताहिक छुट्टियां, न्यूनतम वेतन, प्रोविडेंट फंड, बीमा और बोनस जैसी कानूनी सुविधाओं को भी शामिल किया गया है.

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