कोरोना: सबके लिए वैक्सीन पर केंद्र की दो टूक- जिन्हें ज्यादा जोखिम, उनका टीकाकरण पहले

कोराना की दूसरी लहर में सामने आने वाले मौत के आंकड़े अब डराने लगे हैं. वहीं स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा बढ़ते कोरोना मामलों को लेकर प्रेस ब्रीफिंग की गई, जिसमें छत्तीसगढ़ और पंजाब में हालात चिंताजनक बताए गए हैं. वहीं सभी लोगों को वैक्सीनेशन दिए जाने पर कहा है कि जिन्हें ज्यादा जोखिम हैं, उनका टीकाकरण  पहले किया जाए.

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केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण (फोटो-ANI) केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण (फोटो-ANI)

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 06 अप्रैल 2021,
  • अपडेटेड 7:05 PM IST
  • जरूरतमंदों के लिए वैक्सीनेशन
  • मौतों को रोकना मुख्य टारगेट
  • छत्तीसगढ़-पंजाब में डरा रहा कोरोना

देश में बढ़ते कोरोना के बीच वैक्सीनेशन को लेकर उम्र सीमा घटाने की मांग की जाने लगी है. इस मसले पर केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने मंगलवार को बताया कि दूसरे देशों में देखा जाए तो वैक्सीन 60 से 69 वर्ष आयु वालों को दी गई है. वहीं 16 से 64 आयु के ऐसे लोगों को भी वैक्सीन दी गई है, जो किसी गंभीर बीमारी से ग्रसित हैं. राजेश भूषण ने सभी लोगों के वैक्सीनेशन पर कहा है कि जिन्हें ज्यादा जोखिम है, उनका टीकाकरण पहले किया जाए.

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केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने कहा कि बहुत से लोग पूछते हैं, कि हम सभी के लिए वैक्सीन उपलब्ध क्यों नहीं करा रहे. इस तरह के टीकाकरण अभियान के दो उद्देश्य हैं. मौतों को रोकना और स्वास्थ्य प्रणाली को सुरक्षित करना. उद्देश्य यह नहीं है कि वैक्सीन उन्हें दी जाए, जो वैक्सीन लगवाना चाहते हैं. वैक्सीन उन्हें दी जाए, जिन्हें इसकी जरूरत है.

केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने बताया कि कोरोना वायरस संक्रमण के चलते पंजाब और छत्तीसगढ़ में सामने आए मौत के आंकड़े गंभीर चिंता का कारण हैं. देश में पिछले 24 घंटे में 446 मौतें हुई हैं. वहीं महाराष्ट्र में कोराना वायरस की वजह से हुई मौत का प्रतिशत दूसरे राज्यों से अधिक है. उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ बहुत छोटा राज्य है और यहां की जनसंख्या भी बेहद कम है, फिर भी 6 प्रतिशत कोरोना के मामले यहां सामने आ रहे हैं और मृत्युदर तीन प्रतिशत है. फरवरी में कोरोना वायरस की दूसरी लहर में छत्तीसगढ़ में नए केस और मृत्युदर में बढ़ोत्तरी हुई है.

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केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव ने कहा कि हमने राज्य सरकारों को आरटी-पीसीआर परीक्षणों को बढ़ाने का निर्देश दिया है. राजेश भूषण ने बताया कि पिछले कुछ हफ्तों में टेस्ट महाराष्ट्र में कम हो रहा है. कुल परीक्षणों का केवल 60 प्रतिशत पिछले सप्ताह महाराष्ट्र में आरटी-पीसीआर टेस्ट किए गए. उन्होंने कहा कि हमने सभी राज्यों को इसे 70 प्रतिशत या उससे ऊपर ले जाने का सुझाव दिया है.

केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने कहा कि पंजाब और छत्तीसगढ़ में मौत की संख्या सबसे ज्यादा चिंता का कारण है. देश के सभी सक्रिय मामलों में से 58 प्रतिशत सक्रिय मामले महाराष्ट्र में हैं. देश में हुए कुल मौत में से 34 प्रतिशत महाराष्ट्र में हुई हैं. देश में कुल मौत में से 4 प्रतिशत एक ही राज्य महाराष्ट्र से है. महाराष्ट्र से लगभग 58 प्रतिशत केस आ रहें है. महाराष्ट्र में आरटीपीआर टेस्ट का अनुपात से 72 प्रतिशत से 60 प्रतिशत तक गिर चुका है.

छत्तीसगढ़ में कोरोना पॉजिटिव रेट 16.71 प्रतिशत है. पजांब से देश के 3 प्रतिशत केस सामने आ रहे हैं, जबकि यहां मौतों का प्रतिशत 4.5 है. वहीं कर्नाटक में कोरोना केस में चार गुना बढ़ोत्तरी हुई है. कोविड केस के मामलों में टॉप 10 डिस्ट्रिक्ट में महाराष्ट्र की सात डिस्ट्रिक्ट हैं, जबकि कर्नाटक, छत्तीसगढ़ और दिल्ली में से एक डिस्ट्रिक्ट हैं. नीति आयोग के सदस्य डॉक्टर वीके पॉल ने कहा कि अगले चार सप्ताह बेहद महत्वपूर्ण हैं. कोरोना की दूसरी लहर को हमें हराना है. इस पर एक बार फिर विजय पानी है.

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