वेटरन बॉलीवुड एक्ट्रेस और सांसद जया बच्चन हाल ही में अपने नाम को लेकर काफी चर्चा में रहीं. संसद सत्र के दौरान जब सभापति जयदीप धनखड़ ने उन्हें 'जया अमिताभ बच्चन' बुलाया, तो उन्होंने इसपर आपत्ति दर्ज करवाई. इस घटना के बाद ये मुद्दा खबरों से लेकर सोशल मीडिया तक काफी चर्चा में रहा.
हालांकि, अभी भी ये मामला ठंडा होता हुआ नहीं नजर आ रहा है और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म रेडिट पर यूजर्स ने जया के पिता, जानेमाने जर्नलिस्ट तरुण कुमार भादुड़ी का एक पुराना आर्टिकल खोज निकाला है. इसमें उन्होंने बताया था कि कैसे सुपरस्टार अमिताभ बच्चन ने, फिल्मों के पोस्टर पर जया के नाम के साथ अपना नाम न लगाए जाने को डिफेंड किया था.
अमिताभ ने जया को किया था डिफेंड
1989 में द इलस्ट्रेटेड वीकली के एक आर्टिकल में तरुण ने बताया था कि प्रोफेशनली जया के नाम के साथ अपना नाम न लगाए जाने पर अमिताभ के किस तरह स्टैंड लिया था. उन्होंने लिखा, 'मुझे एक घटना याद है. उनकी शादी के बाद, जया एक फिल्म कर रही थी और जब पोस्टर आए तो उनपर सिर्फ जया का वही नाम लिखा था जो वो शादी से पहले इस्तेमाल करती थीं (जया भादुड़ी). किसी ने अमिताभ को खुश करने के लिए कहा, 'ऐसा क्यों लिखा है? उनके नाम के साथ बच्चन लगा होना चाहिए.' इस पर अमिताभ ने तुरंत पलटकर जवाब दिया: 'ऑफकोर्स वो बच्चन हैं, लेकिन आपको पता होना चाहिए कि इंडस्ट्री में और प्रोफेशनली, वो जया भादुड़ी के तौर पर ज्यादा फेमस हैं.'
जया और अमिताभ की शादी पर पंडित को थी आपत्ति
अपने आर्टिकल में तरुण ने बताया कि फिल्म इंडस्ट्री के इस कपल की शादी के लिए जो बंगाली पंडित बुलाया गया था उसे इस शादी पर आपत्ति थी क्योंकि जया बंगाली थीं, जबकि अमिताभ नहीं थे. उन्होंने लिखा, 'बंगाली पंडित ने पहले तो एक बंगाली ब्राह्मण (जया) और एक नॉन-बंगाली नॉन-ब्राह्मण (अमिताभ) की शादी कराने का विरोध किया. बहुत पचड़ों के बाद ये मामला हल हुआ. अमित (अमिताभ) ने बिना किसी को आहत किए, सारे रिवाज पूरे किए और ये सेरेमनी अगले दिन की सुबह तक चली.'
अमिताभ के ससुर ने उन्हें उनके फेम और ऑफ-स्क्रीन 'इंट्रोवर्ट' स्वभाव रखने के लिए, 'फिल्म इंडस्ट्री में सबसे ज्यादा बदनाम किया गया और गलत समझा गया आदमी' भी कहा. तरुण ने अमिताभ को 'प्यारा लड़का' बताते हुए ये भी बताया कि प्रेस ने लिखा कि उन्हें जया-अमिताभ की शादी से नाखुश भी बताया था, जबकि सच ये नहीं था.
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