क्या है सम्पूर्ण शिक्षा कवच? जिसने देश भर में 61 ग्रामीण छात्रों को IIT-JEE में दिलाई बढ़िया रैंक, बोर्ड रिजल्ट भी हुआ बेहतर

'सम्पूर्ण शिक्षा कवच' योजना के जरिये आईआईटी-जेईई मेन्स परीक्षा में 61 छात्रों ने सफलता हासिल करने में मदद मिली है. उनमें से 33 ने 90+ पर्सेंटाइल में स्कोर किया, और 6 ने 99+ हासिल किया, जिसमें सबसे ज्यादा स्कोर करने वाले छात्र ने 99.63 पर्सेंटाइल हासिल किया.

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सांकेतिक तस्वीर (पीटीआई) सांकेतिक तस्वीर (पीटीआई)

अभि‍षेक आनंद

  • नई दिल्ली,
  • 03 मई 2024,
  • अपडेटेड 11:59 AM IST

सरकार अपनी एक अग्रणी पहल 'सम्पूर्ण शिक्षा कवच' के माध्यम से गांव के होनहार उम्मीदवारों को ऊंची उड़ान भरने में मदद कर रही है. पूरे देश में झारखंड के उत्तर-पूर्वी दुमका, जम्मू और कश्मीर के अनंतनाग और श्रीनगर और बिहार के जमुई सहित ग्रामीण क्षेत्रों में बड़ी सफलता हासिल की है. इस योजना की वजह से 11वीं और 12वीं के छात्र देश की बड़ी परीक्षाओं में बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं.

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61 छात्रों ने पास किया जेईई मेन्स, 33 स्टूडेंट्स 90+ पर्सेंटाइल 
'सम्पूर्ण शिक्षा कवच' योजना के जरिये आईआईटी-जेईई मेन्स परीक्षा में 61 छात्रों ने सफलता हासिल करने में मदद मिली है. उनमें से 33 ने 90+ पर्सेंटाइल में स्कोर किया, और 6 ने 99+ हासिल किया, जिसमें सबसे ज्यादा स्कोर करने वाले छात्र ने 99.63 पर्सेंटाइल हासिल किया. बारेरा नियाज (98.03 पर्सेंटाइल) जम्मू और कश्मीर से सबसे अधिक स्कोर करने वाली महिला उम्मीदवार के रूप में उभरी हैं, जबकि निखिल कुमार (98.3 पर्सेंटाइल) दुमका के एक सरकारी स्कूल से सबसे अधिक स्कोर करने वाले छात्र के रूप में उभरे हैं, जहां हर 200 स्टूडेंट्स पर केवल एक साइंस टीचर है. दुमका के जिला आयुक्त अंजनेयुलु डोड्डे ने कहा कि यह कार्यक्रम ग्रामीण छात्रों को पहले असंभव कारनामे हासिल करने में सक्षम बना रहा है.

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बोर्ड परीक्षा में बेहतर हुआ रिजल्ट
झारखंड में, अपने पायलट फेज में, इस कार्यक्रम ने स्कूली प्रदर्शन में भी सुधार किया, जिससे झारखंड बोर्ड की कक्षा 12वीं की परीक्षा में पास प्रतिशत 74.70% से बढ़कर 80.45% हो गया, जबकि अन्य जिलों में औसतन -10% की गिरावट आई है.

क्या है सम्पूर्ण शिक्षा कवच योजना?
यह भारत सरकार द्वारा शुरू की गई एक महत्वाकांक्षी योजना है, जिसका उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों के छात्रों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करना और उन्हें उच्च शिक्षा और रोजगार के अवसरों तक पहुंच प्रदान करना है. यह योजना आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) और अन्य तकनीकों का उपयोग करके छात्रों को व्यक्तिगत शिक्षा प्रदान करती है, जिससे उन्हें अपनी पूरी क्षमता तक पहुंचने में मदद मिलती है. सम्पूर्ण शिक्षा कवच के सह-संस्थापक रोहित कुमार ने कहा, "यह कार्यक्रम हार्वर्ड और कोलंबिया विश्वविद्यालयों जैसे प्रमुख शैक्षणित संस्थानों के एजुकेशन सिस्टम पर बनाया गया है."

कैसे मदद कर रही है सम्पूर्ण शिक्षा कवच योजना?
दरअसल, इस कार्यक्रम के तहत छात्र-छात्राओं को 11वीं और 12वीं (साइंस विषयों) की स्पेशल ऑनलाइन कोचिंग दी जाती है. इसके अलावा इंजीनियरिंग और मेडिकल जैसे बड़ी परीक्षाओं की भी ऑनलाइन कोचिंग कराई जाती है. इस कार्यक्रम के तहत स्कूलों में स्मार्ट क्लास की व्यवस्था, फिलो एप्प के माध्यम से लाइव इंटरैक्टिव क्लास और स्टडी मेटेरियल उपलब्ध कराया जाता है. इस एप्प के माध्यम से प्रश्नों का उत्तर देने के लिए 24 घंटे टीचर उपलब्ध रहते हैं. इसके अलावा इस कार्यक्रम के तहत रेगुलर टेस्ट भी लिया जाता है. 

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कार्यक्रम के एक अधिकारी ने कहा कि एआई-चालित तकनीक को नियोजित करते हुए, सम्पूर्ण शिक्षा कवच लंबे समय से चले आ रहे सीखने के अंतराल को पहचानता है और उन्हें दूर करता है. यह शहरी कोचिंग सुविधाओं तक पहुंच नहीं रखने वाले ग्रामीण युवाओं को पर्सनल, आमने-सामने लाइव टीचिंग सेशन की सुविधा देता है. उन्होंने आगे कहा कि कार्यक्रम में नामांकन से पहले, कम-आय वाले घरों के कई छात्रों के पास कक्षा 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं के लिए पर्याप्त रूप से तैयारी करने के साधन नहीं थे, अकेले आईआईटी-जेईई में प्रतिस्पर्धा करने दें. फोन के माध्यम से सुलभ अत्याधुनिक तकनीक का उपयोग करके, कार्यक्रम जिला प्रशासन को लिंग और ग्रामीण शिक्षा के अंतर को कम करने में मदद कर रहा है.

अभिजीत सिन्हा, उप विकास आयुक्त, दुमका ने कहा, "भविष्य में तकनीक से चलने वाला कार्यक्रम दूरदराज के क्षेत्रों के छात्रों को बोर्ड परीक्षाओं, NEET (मेडिकल एंट्रेंस एग्जाम) और सीयूईटी (सेंट्रल यूनिवर्सिटी एंट्रेंस टेस्ट) जैसी बाकी प्रतियोगी परीक्षाओं में सफल होने में मदद कर सकता है." सम्पूर्ण शिक्षा कवच के सह-संस्थापक रोहित कुमार ने कहा, "यह कार्यक्रम हार्वर्ड और कोलंबिया विश्वविद्यालयों जैसे प्रमुख शैक्षणिक संस्थानों द्वारा समर्थित त्वरित शिक्षण पद्धतियों पर बनाया गया है."

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