Thomas Alva Edison Death Anniversary: अगर आपने कभी स्कूल में विज्ञान की पढ़ाई की है तो थॉमस एडिसन का नाम जरूर सुना होगा. दुनिया को रोशनी दिखाने वाले थॉमस एल्वा एडिसन ने आज ही के दिन, 18 अक्टूबर 1931 को अपनी आखिरी सांस ली थी. एक अमेरिकी वैज्ञानिक और बिजनेसमैन थे. उन्होंने बिजली के उपकरण, संचार, साउंस रिकॉर्डिंग और वीडियोग्राफी जैसे क्षेत्रों में कई डिवाइस इजाद किए. उपके आविष्कारों में फोनोग्राफ, मोशन पिक्चर कैमरा और इलेक्ट्रिक लाइट बल्ब शामिल हैं. उन्होंने पहली इंडस्ट्रियल रीसर्च लैब की भी स्थापना की.
बपचन से ही तेज दिमाग थे थॉमस
एडिसन का पालन-पोषण अमेरिका के मिडवेस्ट में हुआ. जब वह केवल 12 वर्ष के थे, तब उन्होंने ग्रांड ट्रंक रेलरोड पर कैंडी और न्यूज़पेपर बेचना शुरू कर दिया. थॉमस ने अपनी बैगेज कार में ही एक केमिस्ट्री लैब बना ली थी. अपने करियर की शुरुआत में उन्होंने एक टेलीग्राफ ऑपरेटर के रूप में काम किया, जिसने उनके कुछ शुरुआती आविष्कारों को प्रेरित किया.
1876 में, उन्होंने न्यू जर्सी के मेनलो पार्क में अपनी पहली लेबोरेट्री स्थापित की, जहां उनके कई शुरुआती आविष्कार हुए. बाद में उन्होंने बिजनेसमैन हेनरी फोर्ड और हार्वे एस. फायरस्टोन के सहयोग से फ़्लोरिडा के फोर्ट मायर्स में एक बोटैनिकल लेबोरेट्री की स्थापना की. हेनरी फोर्ड आगे चलकर उनके बहुत अच्छे दोस्त बने.
2 बार की थी शादी
1,093 अमेरिकी पेटेंट के साथ-साथ अन्य देशों में पेटेंट्स के चलते, एडिसन को अमेरिकी इतिहास में सबसे बड़ा वैज्ञानिक माना जाता है. एडिसन ने 2 बार शादी की और उनके 6 बच्चे हुए. उन्होंने 24 वर्ष की उम्र में पहली शादी मारिएन से की जिनकी उम्र 16 वर्ष थी. मारिएन की मौत के बाद उन्होंने दूसरी शादी मीना मिलर से की. 1931 में डायबिटीज़ की परेशानियों के चलते उनकी मौत हुई.
बहरेपन को मानते थे वरदान
जैसे-जैसे वह बड़े होते गए, उनके एक कान में पूर्ण बहरापन और दूसरे कान में आंशिक बहरापन हो गया. स्कार्लेट फीवर के चलते उनकी सुनने की शक्ति जाती रही. इस विषय में एडिसन ने लिखा, ' पहले कान का दर्द आया, फिर बहरापन, और यह बहरापन इतना बढ़ गया कि थिएटर में मैं केवल कुछ शब्द ही सुन सकता था.' फिर भी उन्होंने महसूस किया कि उनकी सुनने की समस्याओं ने उन्हें करियर में लाभ दिया. उन्होंने दावा किया, 'मेरा बहरापन अपंगता नहीं, बल्कि मेरे लिए मददगार रहा है. इसके चलते आविष्कारक के तौर पर मुझे अपना ध्यान केंद्रित करने में बहुत मदद मिली.'
आज भी सुरक्षित है आखिरी सांस
दावा है कि थॉमस एडिसन की आखिरी सांस मिशिगन के डियरबोर्न में स्थित, हेनरी फोर्ड म्यूजियम में सुरक्षित रखी हुई है. एडिसन हेनरी फोर्ड के लंबे समय से दोस्त थे. जानकारी के अनुसार, जब एडिसन की मृत्यु हुई तो उनके एक बेटे ने एक टेस्ट ट्यूब में उनकी अंतिम सांस को भर लिया और उसे सील कर फोर्ड को भेज दिया.
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