उत्तर प्रदेश में जीत के बाद योगी आदित्यनाथ आज रविवार को पहली बार दिल्ली पहुंचे. योगी आदित्यनाथ एयरपोर्ट से सबसे पहले यूपी सदन पहुंचे. यूपी सदन के बाहर बड़ी संख्या में कार्यकर्ता योगी आदित्यनाथ का इंतजार करते दिखाई पड़े. यूपी सदन के बाहर हिंदू युवा वाहिनी और विश्व हिंदू महासंघ के कार्यकर्ता भी पहुंचे थे. कार्यकर्ता अपने साथ स्पीकर लेकर आए थे . स्पीकर पर 'जो राम को लाए हैं हम उनको लाएंगे' का गाना बज रहा था और कार्यकर्ता उस पर ही डांस कर रहे थे.
'योगी राज में हिंदू युवा वाहिनी में क्या बदलाव हुए?'
इन कार्यकर्ताओं के जरिए आजतक ने यह जानने की कोशिश की कि जब से योगी आदित्यनाथ यूपी के मुख्यमंत्री बने हैं तब से लेकर आज तक हिंदू युवा वाहिनी में क्या बदलाव हुए हैं. हिंदू युवा वाहिनी का गठन हिंदुत्व के लिए काम करने और दूसरे सामाजिक कार्यों के लिए हुआ था. 2017 से पहले आए दिन यूपी में हिंदू युवा वाहिनी को लेकर अक्सर कोई ना कोई खबर मिलती रहती थी, लेकिन पिछले 5 सालों में हिंदू युवा वाहिनी, योगी आदित्यनाथ के मुख्यमंत्री बनने के बाद चर्चाओं से धीरे-धीरे गायब होने लगी, क्या है इसकी वजह..
'हमारा काफिला लगातार आगे बढ़ रहा'
इसपर विश्व हिंदू महासंघ के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष देवेंद्र कुमार सिंह कहते हैं कि ऐसा नहीं है कि हिंदू महासंघ और युवा वाहिनी की सक्रियता कम हो गई है. हम लगातार संगठन का विस्तार कर रहे हैं. दिल्ली में भी हमने पिछले साल कई कार्यकर्ताओं को अपने साथ जोड़ा. हमारा काफिला लगातार आगे बढ़ता जा रहा है. लेकिन हां यूपी में योगी जी की सरकार है जिससे हमारी जिम्मेदारी और ज्यादा बढ़ जाती है. हम जनता की समस्याओं को सुलझाने के लिए लगातार उनसे जुड़े रहते हैं. हम जमीन पर पहले से ज्यादा मेहनत कर रहे हैं.
'सपा-बसपा सरकार में संघर्ष करना पड़ता था'
विश्व हिंदू महासंघ के उपाध्यक्ष योगिंदर कसाना कहते हैं कि सपा-बसपा सरकार में हमें हर काम के लिए संघर्ष करना पड़ता था. संघर्ष में कई बार पुलिस से झड़प भी होती थी. हम लोगों के लिए न्याय मांगते थे लेकिन उस झड़प को पुलिस और सपा बसपा प्रशासन गलत तरीके से पेश करता था. अब जब से योगी मुख्यमंत्री बने हैं हमें अपनों को न्याय दिलाने के लिए संघर्ष नहीं करना पड़ता पुलिस और प्रशासन भी हमसे अच्छे से पेश आता है. हमें अब किसी टकरार की जरूरत भी नहीं पड़ती. अब हम जनता तक ज्यादा से ज्यादा विकास योजनाओं की जानकारी कैसे पहुंचे इसके लिए काम करते हैं.
'दलित होकर युवा वाहिनी के सदस्य'
सीएम योगी के लिए माला लेकर पहुंचे राजा जाटव भी हिंदू युवा वाहिनी के कार्यकर्ता हैं. राजा कहते हैं कि पहले तो यह जान लीजिए कि मैं भी हिंदू युवा वाहिनी जैसे बड़े हिंदू संगठन का हिस्सा हूं. लोग मुझे फेसबुक पर कमेंट करते हैं कि तुम दलित होकर युवा वाहिनी के सदस्य कैसे हो सकते हो, लेकिन मुझे यहां मान-सम्मान मिला. राजा कहते हैं कि पहले दलितों में सबसे ज्यादा धर्म परिवर्तन होता था लेकिन जब से योगी- मोदी की सरकार आई है दलितों का धर्मांतरण 95 परसेंट तक खत्म हो गया है. गरीबों तक सरकार की योजनाएं पहुंच रही हैं, राशन पहुंच रहा है. मुझे गर्व है कि दलित होने के बावजूद मैं भी हिंदुत्व के लिए काम कर रहा हूं.
'ऊपर से आर्डर है कि अग्रेसिव नहीं होना है'
हालांकि 28 साल के राहुल वर्मा इन सब से थोड़ी अलग राय रखते हैं वह कहते हैं कि लगभग 7 साल पहले हिंदू युवा वाहिनी का अग्रेशन देखकर ही मैं प्रभावित हुआ था और संगठन से जुड़ा था. हालांकि अब ऊपर से आर्डर है कि अग्रेसिव नहीं होना है. कभी-कभी लगता है कि जैसे हम सिपाही तो हैं लेकिन हमारे हथियार छीन लिए गए हैं फिर भी हमेशा सीएम योगी के साथ खड़ा रहूंगा.