देश में नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के खिलाफ कई हिस्सों में हिंसा देखने को मिली थी. उत्तर प्रदेश के फैजाबाद में भी सीएए के खिलाफ हिंसा हुई थी. वहीं सीएए के खिलाफ हिंसा मामले में फैजाबाद में गिरफ्तार 19 साल के युवक को सुप्रीम कोर्ट ने जमानत दी है.
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दरअसल, सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस आरएफ नरीमन और जस्टिस नवीन शर्मा की बेंच ने एक याचिका पर सुनवाई की. जिसमें यूपी में सीएए विरोधी धरने में शामिल एक युवक फराज ने जमानत मांगी थी. इस मामले से जुड़े अन्य आरोपियों को पहले ही जमानत मिल चुकी है.
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याचिकाकर्ता के लिए वरिष्ठ अधिवक्ता मेनका गुरुस्वामी ने कहा कि सभी सह-आरोपियों को जमानत मिल गई, लेकिन 19 साल की उम्र वाले युवक को विकल्प नहीं दिया गया. शिकायत के सात महीने बाद गिरफ्तारी हुई, चार्जशीट दाखिल हो गई लेकिन जांच से कुछ नहीं हुआ.
याचिका का विरोध
यूपी राज्य की तरफ से सुप्रीम कोर्ट में पेश हुए विष्णु शंकर जैन ने याचिका का विरोध किया. उनका कहना था कि देशी पिस्टल के साथ याचिकाकर्ता पकड़ा गया था. वह एक भीड़ का नेतृत्व कर रहा था. इस हिंसा में 22 पुलिसकर्मी घायल हुए थे. हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में जमानत का आदेश सुनाया.