गुजरात के राजकोट, वडोदरा, जूनागढ़ और भावनगर म्युनिसिपल कॉरपोरेशन ने खुले में अंडे और नॉनवेज की बिक्री के स्टॉल पर रोक लगा दिया था. अब गुजरात के एक और शहर ने इसी तरह का फैसला लिया है. अहमदाबाद म्युनिसिपल कॉरपोरेशन ने भी खुले में अंडे और नॉनवेज के फुड स्टॉल बंद करने का फैसला लिया है. अहमदाबाद म्युनिसिपल कॉरपोरेशन ने इस संबंध में आदेश भी जारी कर दिए हैं.
अहमदाबाद म्युनिसिपल कॉरपोरेशन की ओर से जारी आदेश के मुताबिक धार्मिक स्थल, गार्डन, स्कूल कॉलेज के साथ ही अन्य सार्वजनिक स्थलों पर अब खुले में फुड स्टॉल नहीं लगाया जा सकेगा. अहमदाबाद म्युनिसिपल कॉरपोरेशन की ओर से जारी ये आदेश 16 नवंबर से लागू होगा यानी 16 नवंबर से सार्वजनिक स्थलों पर खुले में फुड स्टॉल नहीं लगाए जा सकेंगे.
अहमदाबाद म्युनिसिपल कॉरपोरेशन के एस्टेट विभाग के चेयरमैन देवांग दानी ने कहा कि प्रमुख सड़क से सौ मीटर के अंदर लगने वाले सभी फूड स्टॉल को हटा दिया जाएगा. नॉनवेज बेचने वालों के लिए लाइसेंस जरूरी होगा. कांग्रेस नेता दिनेश शर्मा ने इस फैसले को लेकर बीजेपी पर हमला बोला. उन्होंने आरोप लगाया कि चुनाव आते ही बीजेपी चुनाव आते ही धर्म की राजनीति करने लगती है.
दूसरी तरफ, अहमदाबाद में अंडा और नॉनवेज फुड स्टॉल लगाने वाले लोगों को अपने रोजगार की चिंता सताने लगी है. पिछले 10 साल से यूनिवर्सिटी के बाहर अंडे बेचने वाले राजू भाई का कहना है कि मुझे चिंता हो रही है कि अब मेरा परिवार कैसे चलेगा. पिछले 10 साल से इसी जगह पर अपना अंडे का स्टॉल लगा रहा हूं लेकिन अब क्या होगा.
गौरतलब है कि अहमदाबाद म्युनिसिपल कॉरपोरेशन अंडे और नॉनवेज स्टॉल को लेकर इस तरह का फैसला लेने वाला तीसरा म्युनिसिपल कॉरपोरेशन बन गया है. अहमदाबाद से पहले राजकोट और वडोदरा म्युनिसिपल कॉरपोरेशन ने खुले में अंडे और नॉनवेज स्टॉल लगाने पर रोक लगाने का फरमान जारी किया था जिसे लेकर सियासी गलियारों में भी एक नई बहस छिड़ गई थी.
राजकोट और वडोदरा म्युनिसिपल कॉरपोरेशन की ओर से जारी आदेश में खुले में अंडे या नॉनवेज स्टॉल से नॉनवेज लेकर इसका सेवन करने वालों के खिलाफ भी कार्रवाई करने की बात कही थी. गुजरात के कानून मंत्री ने इस फैसले का बचाव करते हुए कहा था कि इससे राहगीरों को परेशानी होती है.