केंद्र सरकार द्वारा दिल्ली के उपराज्यपाल के अधिकारों को बढ़ाने वाले बिल को लेकर दिल्ली कांग्रेस ने केंद्र की मोदी सरकार और AAP सरकार पर भी हमला किया है.दिल्ली कांग्रेस के अध्यक्ष अनिल चौधरी ने आरोप लगाया है कि दिल्ली की चुनी हुई सरकार की शक्ति केन्द्र के प्रतिनिधि उपराज्यपाल के हाथों में दी जा रही है.
दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अनिल चौधरी ने आरोप लगाते हुए कहा है कि केन्द्र सरकार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह के इशारे पर दिल्ली सरकार के अधिकार उपराज्यपाल को दे रही है, जिसकी मंजूरी कैबिनेट ने भी दे दी है और The National Capital Territory of Delhi Second (Amendment) Bill, 2021 को संसद के बजट सत्र में पास कराने की तैयारी की जा रही है.
दिल्ली कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि संसद में जो संशोधन कानून लाया जा रहा है उसके जरिए दिल्ली की चुनी सरकार की शक्तियों को छीनकर उसे कमजोर करने की तैयारी है. वहीं, दिल्ली को पूर्ण राज्य का दर्जा दिलवाने का वायदा करने के वाले दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल भी चुप्पी साधे हुए हैं और दूसरे राज्यों के चुनावों की तैयारी में व्यस्त हैं.
अनिल चौधरी ने कहा कि भाजपा की मोदी सरकार लोकतंत्र कमजोर बनाने के लिए एक चुनी हुई सरकार की शक्तियों उपराज्यपाल के हाथों में दे रही है. उन्होंने कहा कि एक तानाशाह के रुप में अपने आप को मजबूत बनाने के लिए मोदी-अमित शाह कानून व्यवस्था और लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं सहित सभी प्रशासनिक संस्थाओं का दुरुपयोग करने की मंशा से कर रहे है.
दिल्ली कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि जब राज्यों को मजबूत करने की बात आती है तो इस तरह के फैसले केंद्र सरकार द्वारा राज्य की सरकार के अधिकार छीनने का संदेश देती है. दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष अनिल चौधरी ने कहा कि "मोदी सरकार के फैसले जनविरोधी रहे हैं चाहे वो नोटबन्दी हो या GST लागू करना हो या किसान कानून जैसा फैसला हो. दिल्ली के मामले में उपराज्यपाल को ताकतवर बनाने की कोशिश है. भाजपा से सवाल पूछना चाहता हूं कि दिल्ली को पूर्ण राज्य का दर्जा देने का वादा कहाँ गया? वहीं ख़ुद को मजबूत मुख्यमंत्री बताने वाले अरविंद केजरीवाल कभी शीला दीक्षित पर आरोप लगाते थे वो आज असहाय हो गए हैं."
इस दौरान दिल्ली कांग्रेस के अध्यक्ष ने पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी को भी याद किया. अनिल चौधरी ने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने हमेशा ही लोकतंत्र को मजबूत बनाने के लिए काम किया है. पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न राजीव गांधी ने लोकतंत्र को गांवों तक मजबूत करने के लिए पंचायती राज का गठन करके गांवों में चुनाव कराकर पंचायत को शक्ति देकर प्रत्येक गांववासी को लोकतंत्र का भागीदार बनाया था.