Liver Health: फैटी लिवर, जिसे अब मेडिकल भाषा में MASLD (Metabolic Dysfunction-Associated Steatotic Liver Disease) कहा जाता है, दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती हेल्थ प्रॉब्लम बन चुका है. पहले इसे छोटी-मोटी बीमारी माना जाता था, लेकिन आज हालात ऐसे हैं कि हर तीन में से एक अडल्ट इस समस्या से जूझ रहा है. ये बीमारी तब शुरू होती है जब लिवर में जरूरत से ज्यादा फैट जमा होने लगता है. शुरुआती स्टेज में कोई लक्षण नहीं दिखता, इसलिए लोग इसे गंभीर मानते ही नहीं. लेकिन समय रहते ध्यान न देने पर यही लिवर को कमजोर कर देता है, स्कारिंग कर सकता है और आगे चलकर सिरोसिस या कैंसर तक बढ़ सकता है.
क्यों खतरनाक है ये ‘साइलेंट’ बीमारी?
डॉक्टर्स बताते हैं कि अगर फैटी लिवर को यूं ही बढ़ने दिया जाए तो ये MASH नाम की गंभीर स्टेज में पहुंच सकता है. इस स्टेज में लिवर में सूजन आने लगती है और उसके सेल्स खराब होने लगते हैं. इससे लिवर फाइब्रोसिस यानी स्कारिंग का खतरा बढ़ जाता है. आगे चलकर यही परेशानी लिवर कैंसर, खासकर हेपैटोसेलुलर कार्सिनोमा तक पहुंच सकती है. सबसे डराने वाली बात यह है कि इस बीमारी में कई बार कोई लक्षण महसूस नहीं होते और जब तक लोगों को पता चलता है, तब तक लिवर को काफी नुकसान पहुंच चुका होता है.
ये तीन आदतें चुपचाप सड़ा देती हैं लिवर
1. गलत खान-पान
गलत डाइट फैटी लिवर बढ़ने की सबसे बड़ी वजहों में से एक है. ज्यादा चीनी, मैदा, तला-भुना और प्रोसेस्ड फूड, जैसे कोल्ड ड्रिंक्स, बिस्किट, पैकेज्ड स्नैक्स और फास्ट फूड लिवर में फैट जमा होने की प्रोसेस को तेज कर देते हैं. एक्सपर्ट मानते हैं कि अगर हम अपने खाने में सब्जियां, साबुत अनाज, दालें, नट्स, ऑलिव ऑयल और फिश जैसी हेल्दी चीजें शामिल करें तो लिवर फैट कम करने में काफी मदद मिलती है.
2. घंटों बैठकर काम करना
दूसरी सबसे बड़ी वजह है घंटों बैठकर काम करना या ऐसा रूटीन जिसमें मूवमेंट बहुत कम हो. जब हम लंबे समय तक एक ही जगह बैठे रहते हैं, तो लिवर भी कम एक्टिव रहता है और फैट को ठीक से प्रोसेस नहीं कर पाता, जिससे फैटी लिवर बढ़ने लगता है. डॉक्टर कहते हैं कि रोज थोड़ा टहलना, सीढ़ियां चढ़ना या फोन पर बात करते हुए भी पैदल चलना लिवर की सेहत के लिए काफी फायदेमंद है.
3. हेल्थ प्रॉब्लम्स को नजरअंदाज करना
तीसरी वजह है मोटापा, डायबिटीज और हाई कोलेस्ट्रॉल जैसी पहले से मौजूद हेल्थ कंडीशंस को नजरअंदाज करना. ये कंडीशंस लिवर में फैट जमा होने की रफ्तार बढ़ा देती हैं और फैटी लिवर को जल्दी खराब कर सकती हैं. इसलिए वजन कंट्रोल में रखना, पूरी नींद लेना और डॉक्टर की सलाह के अनुसार समय-समय पर हेल्थ चेकअप करवाना बहुत जरूरी है.
किन संकेतों से समझें कि मुसीबत में है लिवर?
क्योंकि ये बीमारी चुपचाप बढ़ती है, इसलिए इसके शुरुआती संकेत कई बार लोग नजरअंदाज कर देते हैं. कुछ लोगों को लगातार थकान महसूस होती है, कुछ को पेट के दाहिने ऊपरी हिस्से में हल्का दर्द या भारीपन लगता है. कई बार रूटीन ब्लड टेस्ट में लिवर एन्जाइम बढ़े हुए मिलते हैं या अल्ट्रासाउंड में लिवर बड़ा दिखता है. डॉक्टर सलाह देते हैं कि अगर कोई व्यक्ति मोटापा, डायबिटीज या हाई कोलेस्ट्रॉल जैसी स्थितियों से जूझ रहा है, तो उसे समय-समय पर लिवर का चेकअप करवाना जरूरी है.
लिवर को बचाने का आसान फॉर्मूला
लिवर को सुरक्षित रखना किसी मुश्किल इलाज से नहीं बल्कि रोज की छोटी-छोटी आदतों से संभव है. सही खाना, रोजाना चलने-फिरने, डायबिटीज और कोलेस्ट्रॉल को कंट्रोल में रखने और तय समय पर हेल्थ चेकअप कराने से लिवर को ठीक रखा जा सकता है. यही वो कदम हैं जो फैटी लिवर को बढ़ने से रोकते हैं. डॉक्टरों का मानना है कि लिवर की सेहत दवाइयों से कम और हमारी रोजमर्रा की चॉइस से ज्यादा जुड़ी होती है.
आजतक लाइफस्टाइल डेस्क