'तुम विमान उड़ाने लायक नहीं, जाओ चप्पलें सिलो', इंडिगो के ट्रेनी पायलट ने लगाया जातिवादी दुर्व्यवहार का आरोप

सहकर्मियों द्वारा लगातार उत्पीड़न तथा भेदभावपूर्ण व्यवहार का आरोप लगाते हुए, अशोक कुमार ने यह भी कहा कि उपरोक्त जातिवादी टिप्पणियां उनके बेटे शरण की जाति का स्पष्ट संदर्भ देते हुए, उसे अपमानित करने तथा अनुसूचित जाति के व्यक्ति के रूप में उसकी गरिमा और स्थिति को कम करने के इरादे से की गईं.

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  इंडिगो एयरलाइंस के ट्रेनी पायलट ने सहकर्मियों पर जातिवादी दुर्व्यवहार का आरोप लगाया. (PTI/File Photo) इंडिगो एयरलाइंस के ट्रेनी पायलट ने सहकर्मियों पर जातिवादी दुर्व्यवहार का आरोप लगाया. (PTI/File Photo)

नीरज वशिष्ठ

  • गुरुग्राम,
  • 23 जून 2025,
  • अपडेटेड 4:07 PM IST

इंडिगो एयरलाइंस के एक ट्रेनी पायलट ने अपने तीन सहकर्मियों पर कार्यस्थल पर जातिगत दुर्व्यवहार का आरोप लगाया है. उसने आरोप लगाया है कि सहकर्मियों ने उसे अपमानजनक नामों से पुकारा और कहा कि वह कॉकपिट में बैठने या विमान उड़ाने के लायक नहीं है. शरण कुमार ने यह भी आरोप लगाया कि सहकर्मियों ने उनसे कहा कि वह एयरप्लेन उड़ाने के लिए फिट नहीं हैं और उन्हें वापस जाकर चप्पलें सिलनी चाहिए. 

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शरण के पिता अशोक कुमार ने अपने बेटे के सहकर्मियों- तपस डे, मनीष साहनी और राहुल पाटिल के खिलाफ दर्ज अपनी शिकायत में कहा, 'मेरे बेटे पर तीनों ने जातिवादी टिप्पणियां की. उन्होंने कहा कि तुम विमान उड़ाने के लायक नहीं हो, वापस जाओ और चप्पलें सिलो. मेरी जाति से जुड़े पुराने पेशे का जिक्र किया गया. उन्होंने कहा कि तुम मेरे जूते चाटने के भी लायक नहीं हो. उपरोक्त जातिवादी और अपमानजनक टिप्पणियां दूसरों के सामने की गईं, जो कानून के तहत गंभीर अपराध है.'

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आरोपियों के खिलाफ SC/ST एक्ट में एफआईआर

पुलिस में दर्ज शिकायत के अनुसार अशोक कुमार ने आरोप लगाया, 'एक सहकर्मी ने मेरे बेटे से कहा- तुम्हारी इतनी हिम्मत है कि तुम मेरे सामने बैठकर मुझसे स्पष्टीकरण मांग रहे हो? इस इमारत में चौकीदार होने की तुम्हारी औकात नहीं है और तुम स्पष्टीकरण मांग रहे हो?' उनकी शिकायत के आधार पर तीनों आरोपियों के खिलाफ अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम (SC/ST Act) और भारतीय न्याय संहिता (BNS) की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है.

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सहकर्मियों द्वारा लगातार उत्पीड़न तथा भेदभावपूर्ण व्यवहार का आरोप लगाते हुए, अशोक कुमार ने यह भी कहा कि उपरोक्त जातिवादी टिप्पणियां उनके बेटे शरण की जाति का स्पष्ट संदर्भ देते हुए, उसे अपमानित करने तथा अनुसूचित जाति के व्यक्ति के रूप में उसकी गरिमा और स्थिति को कम करने के इरादे से की गईं. अशोक कुमार ने यह भी कहा कि उनके बेटे शरण के साथ और भी अधिक दुर्व्यवहार किया गया, क्योंकि उसे बिना किसी गलती के करेक्टिव ट्रेनिंग से गुजरने के लिए मजबूर किया गया. उन्होंने आरोप लगाया कि काम के लिए उपलब्ध होने के बावजूद उसकी सैलरी काटी गई, बिना किसी वैध कारण के मेडिकल लीव में कटौती कर दी गई, स्टाफ यात्रा और एसीएम विशेषाधिकार रद्द कर दिए गए, और बिना सबूत के चेतावनी पत्र जारी किया गया. 

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पीड़िता के पिता अशोक कुमार के मुताबिक ये सब हथकंडे इसलिए अपनाए गए ताकि दबाव में आकर मेरा बेटा इस्तीफा दे दे. उन्होंने यह भी दावा किया कि शरण कुमार द्वारा मामले की सूचना इंडिगो एयरलाइंस के सीईओ और एथिक्स कमेटी को देने के बावजूद आरोपियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई. अशोक कुमार ने कहा, 'इस अन्याय को दूर करने या मेरी गरिमा और अधिकारों की रक्षा के लिए कोई कार्रवाई नहीं की गई है.' इस बीच, पुलिस ने शरण कुमार द्वारा लगाए गए आरोपों की आगे की जांच शुरू कर दी है.

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