अफगानिस्तान में बाढ़ और बारिश से फिर तबाही, 50 लोगों की मौत

अफगानिस्तान की सत्ता पर काबिज तालिबान के एक अधिकारी ने शनिवार को बताया कि मध्य अफगानिस्तान में बारिश और बाढ़ की ताजा स्थिति के बाद कम से कम 50 लोग मारे गए हैं. उन्होंने बताया कि प्रांत की राजधानी फिरोज-कोह में 2 हजार घर पूरी तरह से टूट गए हैं और 4 हजार घर आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त हो गए, जबकि 2 हजार से ज्यादा दुकानें तबाह हो गईं हैं.

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अफगानिस्तान में बाढ़ में गई सैकड़ों लोगों की जान. (फाइल फोटो) अफगानिस्तान में बाढ़ में गई सैकड़ों लोगों की जान. (फाइल फोटो)

aajtak.in

  • काबुल,
  • 19 मई 2024,
  • अपडेटेड 8:06 AM IST

इन दिनों अफगानिस्तान में बाढ़ और भारी बारिश ने तबाही मचा रखी है. तालिबान के एक अधिकारी ने शनिवार को कहा कि मध्य अफगानिस्तान में बारिश और बाढ़ की ताजा स्थिति के बाद कम से कम 50 लोग मारे गए हैं.

रॉयटर्स के मुताबिक, अफगानिस्तान के घोर प्रांत के सूचना विभाग के प्रमुख मावलवी अब्दुल हई जईम ने बताया कि शुक्रवार से शुरू हुई बारिश के कारण कितने लोग घायल हुए हैं, इसकी कोई जानकारी नहीं है. क्योंकि क्षेत्र की कई प्रमुख सड़कें भी कट गई हैं.

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जईम ने कहा कि प्रांत की राजधानी फिरोज-कोह में 2 हजार घर पूरी तरह से टूट गए हैं और 4 हजार घर आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त हो गए, जबकि 2 हजार से ज्यादा दुकानें तबाह हो गईं हैं.
 
अधिकारियों ने रविवार को कहा कि पिछले हफ्ते भारी बारिश के कारण अचानक आई बाढ़ ने उत्तरी अफगानिस्तान के गांवों को तबाह कर दिया, जिसमें 315 लोगों की मौत हो गई और 1,600 से अधिक लोग घायल हो गए.

हेलिकॉप्टर हुआ दुर्घटना

देश के रक्षा मंत्रालय ने कहा कि बुधवार को घोर प्रांत में एक नदी में गिरे लोगों के शवों को निकालने के प्रयास के दौरान अफगान वायु सेना द्वारा इस्तेमाल किया गया एक हेलीकॉप्टर "तकनीकी समस्याओं" के कारण दुर्घटनाग्रस्त हो गया, जिसमें एक की मौत हो गई और 12 लोग घायल हो गए.

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अफगानिस्तान प्राकृतिक आपदाओं से ग्रस्त है, जहां पिछले महीने से भारी बारिश को हो रही है. जिससे यहां जान माल का काफी नुकसान हुआ है.

वहीं, संयुक्त राष्ट्र इसे जलवायु परिवर्तन के प्रति सबसे संवेदनशील देशों में से एक मानता है. 2021 में विदेशी सेनाओं के देश से चले जाने के बाद तालिबान के सत्ता में आने के बाद से इसे सहायता की कमी से जूझना पड़ा है, क्योंकि सरकार ने विकास सहायता के कामों में कटौती कर दी गई थी.

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